एससीबीए का न्यायाधीशों के रूप में पदोन्नति के लिए उसके सदस्यों पर विचार करने के लिए सीजेआई को पत्र

एससीबीए का न्यायाधीशों के रूप में पदोन्नति के लिए उसके सदस्यों पर विचार करने के लिए सीजेआई को पत्र

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  • Publish Date - January 7, 2022 / 07:07 PM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 08:00 PM IST

नयी दिल्ली, सात जनवरी (भाषा) उच्चतम न्यायालय बार एसोसिएशन (एससीबीए) ने प्रधान न्यायाधीश (सीजेआई) एन वी रमण को पत्र लिखकर विभिन्न उच्च न्यायालयों में न्यायाधीश के रूप में पदोन्नति के लिए बार के सदस्यों के नामों पर विचार नहीं करने पर दुख जाहिर किया है।

एससीबीए अध्यक्ष एवं वरिष्ठ अधिवक्ता विकास सिंह ने प्रधान न्यायाधीश और शीर्ष अदालत के चार वरिष्ठतम न्यायाधीशों को छह जनवरी को लिखे पत्र में कहा कि बार एसोसिएशन ने एक खोज समिति का गठन किया 48 नामों की पहचान की जिनको विभिन्न उच्च न्यायालयों में पदोन्नति देने पर विचार किया जाना चाहिए था।

उसने कहा कि नामों की सूची कई महीने पहले प्रधान न्यायाधीश को सौंपी गई थी। हालांकि, उच्च न्यायालयों में बड़ी संख्या में रिक्तियां होने के बावजूद समिति द्वारा सुझाए गए नामों में से किसी पर भी उच्च न्यायालय के किसी कॉलेजियम द्वारा विचार नहीं किया गया।

पत्र में दावा किया गया, “पूरी कवायद उच्च न्यायपालिका में नियुक्ति की प्रक्रिया में अधिक पारदर्शिता लाने के लिए भी थी, जिसे बार-बार गोपनीयता की आड़ में किए जाने का आरोप लगता रहा है।”

पत्र में कहा गया है कि पूर्व की कार्यकारिणी समिति ने न्यायाधीशों की समिति के साथ-साथ कक्षों को विभाजित करने वाली दीवारों को बदलने का भी निर्णय लिया था ताकि एकल आवंटन के उद्देश्य से दो के स्थान पर तीन कक्ष बनाए जा सकें।

हालांकि, उसने कहा कि एसोसिएशन के बार-बार के अनुरोध के बावजूद, अंतिम कक्ष आवंटनसूची समयबद्ध तरीके से तैयार नहीं की गई।

एससीबीए ने अनुरोध किया है कि मुद्दों पर चर्चा करने और जल्द से जल्द आवश्यक कार्रवाई करने के लिए उसकी कार्यकारी समिति को तत्काल सुना जाए।

उसने कहा, “अब हमें यह महसूस हो रहा है कि चूंकि एससीबीए ने अपने इतिहास में कभी भी हड़ताल का सहारा नहीं लिया, इसलिए उसे उचित महत्व नहीं दिया जा रहा है।”

भाषा

नेहा अनूप

अनूप