टीएमसी की प्रस्तावित नकद हस्तांतरण योजना मेघालय को ‘ऋण जाल’ में धकेल देगी: संगमा

टीएमसी की प्रस्तावित नकद हस्तांतरण योजना मेघालय को ‘ऋण जाल’ में धकेल देगी: संगमा

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  • Publish Date - January 19, 2023 / 08:02 PM IST,
    Updated On - January 19, 2023 / 08:02 PM IST

शिलांग, 19 जनवरी (भाषा) मेघालय के मुख्यमंत्री और नेशनल पीपुल्स पार्टी (एनपीपी) प्रमुख कोनराड के. संगमा ने चुनाव से पहले पार्टियों द्वारा किए गए वादों को ‘‘ऋण जाल’’ करार देते हुए बृहस्पतिवार को लोगों को ‘‘इस तरह के हथकंडों’’ से आगाह किया।

विपक्षी तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) पर निशाना साधते हुए संगमा ने कहा कि टीएमसी की नकद हस्तांतरण योजनाओं के कारण पश्चिम बंगाल का कर्ज पिछले कुछ वर्षों में बढ़ा है। टीएमसी ने अपनी दो योजनाओं के मद्देनजर लोगों से भारी प्रतिक्रिया प्राप्त होने का दावा किया है।

उन्होंने ‘वी कार्ड’ (महिलाओं के लिए) और ‘मेघालय यूथ एम्पावरमेंट (एमवाईई) कार्ड’ योजनाओं को टीएमसी के ‘बाकी’ (क्रेडिट) कार्ड के रूप में करार दिया और कहा कि यह दर्शाता है कि यदि टीएमसी जीत जाती है तो राज्य के खजाने पर बोझ स्थानांतरित कर सकती है।

मुख्यमंत्री ने एक बयान में कहा, “उन्हें इस बात का एहसास नहीं है कि अगर इस तरह के हस्तक्षेप किए जाते हैं, तो राज्य कर्ज के जाल में फंस जाएगा, जैसा कि पश्चिम बंगाल में पहले ही हो चुका है।”

उन्होंने कहा, “बंगाल की ‘लक्ष्मी भंडार’ योजना को ‘वी कार्ड’ के रूप में फिर से शुरू किया गया है। पश्चिम बंगाल में टीएमसी सरकार पर 2022-23 में प्रति व्यक्ति लगभग 59,000 रुपये का कर्ज है और यह योजना (लक्ष्मी भंडार) एक कारण है।”

मुख्यमंत्री के अनुसार, 2022-23 के लिए पश्चिम बंगाल का संचित ऋण 31 मार्च, 2022 तक के 5.28 लाख करोड़ रुपये से बढ़कर 5.86 लाख करोड़ रुपये होने की उम्मीद है।

भाषा जितेंद्र अविनाश

अविनाश