Pakistan Returns BSF Jawan: BSF Jawan Purnam Kumar Shaw

Pakistan Returns BSF Jawan: BSF जवान पूर्णम कुमार शॉ पाकिस्तान से रिहा! पिता ने सरकार का जताया आभार, कहा- मेरा बेटा फिर से देश सेवा करे

BSF जवान पूर्णम कुमार शॉ पाकिस्तान से रिहा...Pakistan Returns BSF Jawan: BSF Jawan Purnam Kumar Shaw released from Pakistan

Edited By :  
Modified Date: May 14, 2025 / 01:50 PM IST
,
Published Date: May 14, 2025 1:50 pm IST

कोलकाता: Pakistan Returns BSF Jawan: 23 अप्रैल 2025 से पाकिस्तान रेंजर्स की हिरासत में रहे सीमा सुरक्षा बल (BSF) के जवान पूर्णम कुमार शॉ को आखिरकार आज भारत वापस लाया गया। जवान को पाकिस्तान द्वारा सुबह 10:30 बजे भारत को सौंपा गया। सीमा पर पाकिस्तानी कब्जे में बीते करीब 20 दिनों के बाद जवान की सुरक्षित वापसी से पूरे देश में राहत और खुशी का माहौल है।

Read More : Colonel Sophia Qureshi Controversy: “सोफिया देश की बेटी, उन पर गर्व… अपमान बर्दाश्त नहीं”, कर्नल सोफिया पर दिए विवादित बयान पर बोले वीडी शर्मा

Pakistan Returns BSF Jawan: पश्चिम बंगाल स्थित उनके पैतृक घर में भी जश्न जैसा माहौल है। जवान के पिता भोला नाथ शॉ ने मीडिया से बात करते हुए कहा की मैं केंद्र और राज्य सरकार का दिल से शुक्रिया अदा करता हूं जिन्होंने मेरे बेटे को पाकिस्तान से रिहा करवाया और सकुशल भारत वापस लाया। जब से हमें इसकी खबर मिली थी हम रोज उसके लौटने की दुआ कर रहे थे। अब जब मेरा बेटा वापस आ गया है तो मैं चाहूंगा कि वह एक बार फिर से देश की सेवा करे।

"BSF जवान पूर्णम कुमार शॉ को पाकिस्तान ने कब रिहा किया?"

पाकिस्तान ने 14 मई 2025 की सुबह 10:30 बजे पूर्णम कुमार शॉ को भारत को सौंपा।

"पूर्णम कुमार शॉ पाकिस्तान की हिरासत में क्यों थे?"

यह जानकारी स्पष्ट नहीं है कि वे कैसे पकड़े गए, लेकिन वे 23 अप्रैल 2025 से पाकिस्तान रेंजर्स की हिरासत में थे। संभवतः वे गलती से सीमा पार कर गए थे।

"BSF जवान की रिहाई में किसने मदद की?"

केंद्र सरकार, राज्य सरकार और सुरक्षा एजेंसियों ने मिलकर इस रिहाई में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।

"पूर्णम कुमार शॉ की रिहाई पर परिवार का क्या कहना है?"

परिवार ने केंद्र और राज्य सरकार का आभार जताया और कहा कि वे बेटे की सुरक्षित वापसी से बहुत खुश हैं।

क्या "पूर्णम कुमार शॉ फिर से सेवा में लौटेंगे?"

उनके पिता ने इच्छा जताई है कि वह फिर से देश की सेवा करें, लेकिन यह फैसला सेना और जवान पर निर्भर करेगा।