MP Assembly Election Results 2023: BJP को वोट..बदले में मिली चोट! क्या देश की राजनीति लोगों को धर्म के आधार पर बांट रही है?
MP Assembly Election Results 2023: BJP को वोट..बदले में मिली चोट! क्या देश की राजनीति लोगों को धर्म के आधार पर बांट रही है?
भोपाल: MP Assembly Election Results 2023 क्या धर्म की राजनीति का असर लोगों की जिंदगी पर पड़ रहा है। क्या देश की राजनीति लोगों को धर्म के आधार पर बांट रही है? ये सवाल आज इसलिए क्योंकि मध्यप्रदेश में एक हैरान करने वाला मामला सामने आया है। एमपी की सिहोर की समीना बी को बीजेपी को वोट देने की कीमत थप्पर, पीड़ा और चोट से चुकानी पड़ी। क्या लोकतांत्रिक प्रक्रिया को पालन करने से पहले कट्टर सोच हावी होती जा रही है।
MP Assembly Election Results 2023 CM हाउस में सीएम शिवराज से इंसाफ मांग रही ये महिला समीना बी है जो कि अपनी पीड़ा और दर्द को सीएम से मिलकर बयां कर रही। असल में सीहोर की रहने वाली समीना बी ने इस बार विधानसभा चुनाव में भाजपा को वोट दिया। ये बात उसने अपने परिवार के सदस्यों को बताई जिसके बाद महिला को उसके देवर ने डंडे से पीटा और थप्पड़ तक मारा। आरोपी ने जान से मारने की धमीक भी दी। घटना 4 दिसंबर की है। इस घटना की जितनी निंदा की जाए वो कम है। घटना से समाज और मुस्लिम वोटरों पर कई सवाल उठ रहे हैं। सवाल इसलिए क्योंकि, हमेशा से राजनीतिक पार्टियों पर ये आरोप लगते रहे हैं कि वो धर्म की राजनीति करती है। धर्म पर जनता को बांटती है। मगर समाज और खासकर सबीना के घर के अंदर की इस खिलाफत ने कई सवालों को सुलगा दिया है। क्या वोट के बदले चोट दी जाएगी? खैर एक बार उस दर्द को सुनिए जो समीना बी ने सीएम शिवराज को बताया।
समीना बी ने बताया की उसे भाजपा की योजनाओं का लाभ मिला। खासकर लाडली बहना योजना का लाभ भी मिल रहा। जिसकी सजा उसे दी जा रही। सीएम शिवराज से मिलकर सबीना बी को अपनत्व का एहरसास औऱ उसने कहा कि मैं आगे भी भाजपा को ही वोट दूंगी ।
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने भोपाल की उत्तर विधानसभा में लाड़ली बहनो से संवाद करते हुए समीना से मुलाकात का जिक्र किया औऱ कहा कि समीना अभी तू चिंता मत कर तेरा भाई जिंदा है।
एमपी में इस बार के चुनाव में हिंदू-मुस्लिम और वोटों की ध्रुवीकरण पर खुब राजनीति हुई। बीजेपी ने अपनी पिच पर कांग्रेस को खेलने पर मजबूर किया और नजीतों से साफ है कि, भाजपा इसमें जीत भी गई। मगर इस घटना के बाद फिर भाजपा-कांग्रेस आमने-सामने हैं।
लोकतंत्र एक ऐसी शासन प्रणाली है। जिसके अंतर्गत जनता अपनी स्वेच्छा से निर्वाचन में आए हुए किसी भी पार्टी या प्रत्याशी को अपना मत दे सकती हैं। मगर सिहोर की इस घटना ने समाज पर और खसकर उस तपके पर बड़े सवाल खड़े कर दिए हैं।

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