(सज्जाद हुसैन)
इस्लामाबाद, 14 अगस्त (भाषा) देशवासियों से अतीत की गलतियों को सुधारने के लिए आत्मनिरीक्षण करने का आह्वान करते हुए प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने बुधवार को घोषणा की कि नकदी से कमी से जूझ रहे पाकिस्तान को आर्थिक संकट से उबारने के लिए वह शीघ्र ही नयी पंचवर्षीय योजना जारी करेंगे।
शरीफ ने पाकिस्तान के 78वें स्वतंत्रता दिवस पर यह बयान दिया है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि देश को वर्तमान संकटों से बाहर निकालने के लिए नए उत्साह के साथ एक ‘नयी यात्रा शुरू की जानी चाहिए’’ और जल्द ही एक पंचवर्षीय आर्थिक कार्यक्रम शुरू किया जाएगा।
उन्होंने कहा कि अतीत की गलतियों को सुधारने के लिए आत्मनिरीक्षण की जरूरत है।
रेडियो पाकिस्तान के अनुसार यहां मुख्य स्वतंत्रता दिवस समारोह में प्रधानमंत्री ने कहा कि देश को अगले कुछ दिनों में बिजली की दरों में कमी आने की अच्छी खबर सुनने को मिलेगी।
देश के समक्ष उपस्थित मुद्दों का जिक्र करते हुए शरीफ ने मुद्रास्फीति और बिजली की दरें घटाने तथा पाकिस्तान की खस्ताहाल अर्थव्यवस्था को सुधारने के लिए अपने खून की आखिरी बूंद तक कड़ी मेहनत करने का संकल्प लिया।
उन्होंने कहा कि मुद्रास्फीति और बिजली बिलों में कमी कृषि और उद्योग के विकास, निर्यात को बढ़ाने और घरेलू बिजली उपभोक्ताओं को राहत प्रदान करने के लिए महत्वपूर्ण है।
शरीफ ने युवाओं से अपनी पढ़ाई, प्रशिक्षण एंव हुनर पर ध्यान देने तथा अव्यवस्था, अराजकता एवं धोखाधड़ी की ताकतों से बचने की अपील भी की।
उन्होंने कहा कि पाकिस्तान के दुश्मन युवाओं को गुमराह करने के लिए डिजिटल आतंकवाद के जरिए उनके दिमाग में जहर घोल रहे हैं।
एक अलग संदेश में प्रधानमंत्री शरीफ ने कहा, ‘‘हम अपने पूर्वजों और पाकिस्तान आंदोलन के अनगिनत गुमनाम नायकों के बलिदान को श्रद्धांजलि अर्पित करते हैं, जिन्होंने दक्षिण एशिया के लाखों लोगों के लिए एक स्वतंत्र देश की खातिर अथक संघर्ष किया, जहां वे अपनी मान्यताओं और मूल्यों के अनुसार रह सकें।’’
उन्होंने यह भी कहा कि पाकिस्तान जम्मू-कश्मीर के लोगों को तब तक नैतिक, राजनीतिक और कूटनीतिक समर्थन जारी रखेगा, जब तक उन्हें आत्मनिर्णय का सार्वभौमिक अधिकार प्राप्त नहीं हो जाता।
राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी ने अपने संदेश में कहा,‘‘आज, हमें अपने मतभेदों को दूर करके एकता, अखंडता और आर्थिक स्थिरता के लिए प्रतिबद्ध होकर काम करने की जरूरत है।’’
उन्होंने कानून के शासन को कायम रखने और लोकतांत्रिक संस्थाओं को मजबूत करने का आह्वान किया तथा कश्मीर और फलस्तीन के लोगों के प्रति उनके वैध अधिकारों के लिए अपना समर्थन दोहराया।
भारत ने बार-बार कहा है कि वह आतंकवाद, शत्रुता और हिंसा से मुक्त वातावरण में पाकिस्तान के साथ सामान्य पड़ोसी जैसा संबंध चाहता है।
उसने दृढ़ता के साथ कहा है कि ‘‘केंद्रशासित प्रदेश जम्मू कश्मीर और केंद्रशासित प्रदेश लद्दाख भारत के अभिन्न और अविभाज्य अंग रहे हैं, हैं और हमेशा रहेंगे।’’
स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर राष्ट्रपति जरदारी ने 104 पाकिस्तानी और विदेशी नागरिकों को पाकिस्तान के प्रति उनकी सेवाओं के लिए सम्मानित करने को मंजूरी दी।
भाषा राजकुमार अविनाश
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