रोजाना नहाने से होते हैं ये साइड इफेक्ट्स, इम्यूनिटी पर भी पड़ता है बुरा असर...यहां जानें | These side effects are caused by bathing daily, immunity also has a bad effect... know here

रोजाना नहाने से होते हैं ये साइड इफेक्ट्स, इम्यूनिटी पर भी पड़ता है बुरा असर…यहां जानें

रोजाना नहाने से होते हैं ये साइड इफेक्ट्स, इम्यूनिटी पर भी पड़ता है बुरा असर...यहां जानें

रोजाना नहाने से होते हैं ये साइड इफेक्ट्स, इम्यूनिटी पर भी पड़ता है बुरा असर…यहां जानें
Modified Date: November 29, 2022 / 08:19 pm IST
Published Date: July 3, 2021 11:46 am IST

Health : अगर कोई कहे कि रोजाना नहाने से कई तरह के नुकसान होते हैं तो शायद यह बात आपको बहुत अजीब लगेगी, क्योंकि हमें बचपन से रोजाना नहाने और शरीर की ढंग से साफ रखने की नसीहत मिलती रही है, बड़े-बुजुर्ग हमेशा से ही ये कहते आए हैं कि नहाने से इंसान बीमार नहीं पड़ता है लेकिन विज्ञान इससे कुछ अलग ही कहानी कह रहा है। विशेषज्ञ कहते हैं कि रोजाना नहाना हमारी सेहत के लिए कई मायनों में नुकसानदायक हो सकता है।

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हारवर्ड हेल्थ की एक रिपोर्ट के अनुसार, आमतौर पर स्वस्थ त्वचा पर ऑयल की परत और गुड बैक्टीरिया को संतुलित रखने का काम करती है, नहाते वक्त स्किन को रगड़ने या साफ करने से वो निकल जाते हैं, इस मामले में गर्म पानी से तो और भी ज्यादा नुकसान हैं। एक्सपर्ट कहते हैं कि नहाने के बाद इंसान की खुरदरी या रूखी त्वचा भी बाहरी बैक्टीरिया और एलेर्जेंस को बुलावा देती है, इससे स्किन इंफेक्शन या एलेर्जिक रिएक्शन का खतरा और बढ़ जाता है, इसलिए डॉक्टर लोगों को नहाने के बाद स्किन क्रीम का इस्तेमाल करने की सलाह देते हैं।

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शरीर में एंटीबॉडी बनाने और इम्यूनिटी बढ़ाने के लिए हमारे प्रतिरक्षा तंत्र को निश्चित मात्रा में कॉमन बैक्टीरिया, गंदगी और या सूक्ष्म जीवों की जरूरत होती है, इसी वजह से डॉक्टर्स और डर्माटोलॉजिस्ट बच्चों को रोजाना नहलाने की सलाह नहीं देते हैं, बार-बार नहाने से हमारे इम्यून सिस्टम की क्षमता कम हो सकती है। जिन एंटी बैक्टीरियल शैंपू और साबुन का हम इस्तेमाल करते हैं वो भी हमारे गुड बैक्टीरिया को मार सकते हैं, हारवर्ड हेल्थ के मुताबिक, ये त्वचा पर बैक्टीरिया के बैलेंस को खराब करते हैं। ये कम फ्रेंडली बैक्टीरिया के पैदा होने का जोखिम बढ़ाता है, जो एंटी बायोटिक दवाओं के प्रति अधिक प्रतिरोधी होते हैं।

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अमेरिका की प्रसिद्ध डर्माटोलॉजिल्ट डॉ. लॉरेन प्लॉच के मुताबिक, स्किन से जुड़ी समस्या से जूझ रहे लोग या बहुत ज्यादा ड्राय स्किन वाले लोगों को ज्यादा से ज्यादा 5 मिनट तक ही नहाना चाहिए, ऐसे लोगों को एक बार में एक मिनट से ज्यादा शावर के नीचे नहीं खड़ा होना चाहिए, ये स्किन और हेयर दोनों के लिए खराब हो सकता है। NBC News की एक रिपोर्ट के मुताबिक, गर्म पानी शरीर के नैचुरल ऑयल को ज्यादा तेजी से खत्म करता है और स्किन को भी तेजी से डैमेज करता है, इस सर्कुलेशन को बैलेंस करने के लिए कई लोग या तो बहुत ज्यादा ठंडे या फिर ज्याद गर्म पानी से नहाते हैं, लेकिन सही मायने में तापमान के हिसाब से ही हमें पानी का इस्तेमाल करना चाहिए।

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रिपोर्ट के मुताबिक, अगर आपको चमड़ी से जुड़ी कोई समस्या नहीं है तो आप रेगुलर साबुन का इस्तेमाल कर सकते हैं, लेकिन अगर आपकी स्किन में ड्रायनेस की समस्या है तो इससे बचने की सलाह दी जाती है, दरअसल साबुन आपकी त्वचा में मौजूद नैचुरल ऑयल को निकाल देता है, जिससे ड्रायनेस की दिक्कत और बढ़ जाती है।

एक्सपर्ट की मानें तो ठंड के मौसम में ज्यादा देर तक गर्म पानी का शावर लेना सेहत के लिए अच्छा नहीं है, इससे हमारी बॉडी और दिमाग दोनों पर बुरा असर पड़ता है, दरअसल गर्म पानी केराटिन नाम के स्किन सेल्स को डैमेज करता है, जिससे त्वचा में खुजली, ड्रायेनस और रैशेस की समस्या बढ़ जाती है, एक्सपर्ट कहते हैं कि गर्म पानी से नहाने से आंखों की भी नमी खत्म होने लगती है जिसकी वजह से आंखों में हल्की खुजली की समस्या हो सकती है, अच्छा होगा कि गर्म या ठंडे पानी की बजाय नॉर्मल पानी का इस्तेमाल करें।

लेखक के बारे में

डॉ.अनिल शुक्ला, 2019 से CG-MP के प्रतिष्ठित न्यूज चैनल IBC24 के डिजिटल ​डिपार्टमेंट में Senior Associate Producer और शिफ्ट इंचार्ज हैं। 2024 में महात्मा गांधी ग्रामोदय विश्वविद्यालय से Journalism and Mass Communication विषय में Ph.D अवॉर्ड हो चुके हैं। महात्मा गांधी अंतरराष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय वर्धा से M.Phil और कुशाभाऊ ठाकरे पत्रकारिता एवं जनसंचार विश्वविद्यालय, रायपुर से M.sc (EM) में पोस्ट ग्रेजुएशन किया। जहां प्रावीण्य सूची में प्रथम आने के लिए तिब्बती धर्मगुरू दलाई लामा के हाथों गोल्ड मेडल प्राप्त किया। इन्होंने गुरूघासीदास विश्वविद्यालय बिलासपुर से हिंदी साहित्य में एम.ए किया। इनके अलावा PGDJMC और PGDRD एक वर्षीय डिप्लोमा कोर्स भी किया। डॉ.अनिल शुक्ला ने मीडिया एवं जनसंचार से संबंधित दर्जन भर से अधिक कार्यशाला, सेमीनार, मीडिया संगो​ष्ठी में सहभागिता की। इनके तमाम प्रतिष्ठित पत्र पत्रिकाओं में लेख और शोध पत्र प्रकाशित हैं। डॉ.अनिल शुक्ला को रिपोर्टर, एंकर और कंटेट राइटर के बतौर मीडिया के क्षेत्र में काम करने का 15 वर्ष से अधिक का अनुभव है।