CG Top 10 2023 Election Issues: सियासत के केंद्र में रहे ये 10 मुद्दे.. यही तय करेंगे छत्तीसगढ़ में नई सरकार भी, आप भी पढ़े

CG Top 10 2023 Election Issues: सियासत के केंद्र में रहे ये 10 मुद्दे.. यही तय करेंगे छत्तीसगढ़ में नई सरकार भी, आप भी पढ़े

CG Top 10 2023 Election Issues

Modified Date: November 15, 2023 / 09:01 pm IST
Published Date: November 15, 2023 8:56 pm IST

रायपुर: छत्तीसगढ़ में होने वाले दूसरे और आखिरी चरण के मतदान के लिए आज यानी बुधवार शाम से प्रचार-प्रसार का शोरगुल पूरी थम गया है। 17नवम्बर यानी शुक्रवार को छत्तीसगढ़ के बाकी बचे 70 सीटों के लिए वोट डाले जाएंगे।

Amit Shah In Bemetara: ‘ईश्वर साहू उम्मीदवार ही नहीं न्याय के प्रतीक है, तय किया था आखिरी दिन आऊंगा यहाँ’ :अमित शाह

बात करे आज आखिरी दिन कि तो भाजपा और कांग्रेस दोनों ही प्रमुख दलों के नेताओं में प्रदेश में जमकर प्रचार किया। अमित शाह, अनुराग ठाकुर से लेकर कांग्रेस सांसद राहुल गाँधी ने अलग-अलग विधानसभाओं में चुनावी सभाएं की और मतदाताओं से अपने-अपने पक्ष में वोट की अपील की। सभी नेताओं ने इस दौरान बड़े दावे भी किये लेकिन सबसे बड़ा सवाल यही है कि इस बार के विधानसभा चुनाव में छत्तीसगढ़ के लिए सबसे बड़ा मुद्दा क्या रहा? हम आपको बताने जा रहे 10 ऐसे मुद्दे जो पूरे प्रचार के दौरान छाये रहे और जिनके इर्द-गिर्द ही सियासी बयानबाजियां भी होती रही।

 ⁠

इस बार छत्तीसगढ़ में छाए रहे यह मुद्दे

1. धान – धान के दामों पर भाजपा का रहा जोर, कांग्रेस ने बताया वह ज्यादा विश्वसनीय, क्योंकि दे ही रहे हैं, लेकिन भाजपा कांग्रेस को तुरंत और एक साथ भुगतान के मामले में छकाती रही, कांग्रेस ने इस पर मौन साधे रखा।

2. शराबबंदी – शराबबंदी पर भाजपा आक्रामक रही, कांग्रेस के 2018 में किए 36 वादों में इसे प्रमुखता से उठाती रही, कांग्रेस शुरू में जवाब देती रही, इसके बाद शराबबंदी पर मौन साधे रखा, भाजपा के घोषणापत्र में शराबबंदी का कोई जिक्र नहीं इसके बाद दोनों ही दलों की ओर से यह जिक्र खत्म सा हो गया।

3. अपराध  – विधि व्यवस्था, छिटपुट चाकूबाजी, हत्या, रेप, लूट, चोरी, छिनैती जैसे मसलों को भाजपा महिला अस्मिता से जोड़कर प्रचारित करती रही, कांग्रेस इसे खारिज करती रही।

4. साम्प्रदायिकता – सांप्रदायिक ध्रुवीकरण के लिए भाजपा सतत कवर्धा और बीरनपुर की हिंसा की याद दिलाती रही, मुआवजा समेत ईश्वर साहू की हत्या और कवर्धा में भगवा झंडा उठाने का मुद्दे उठाती रही, कांग्रेस इसे सिर्फ धार्मिक ध्रुवीकरण कहकर नकारती रही।

Scindia vs Gandhi: सिंधिया ने प्रियंका गांधी को बताया पार्ट टाइम नेत्री.. कहा ‘मेरे खिलाफ बोलने के लिए भी उन्हें पर्ची पढ़ना पड़ता है’

5. महिलाओं की योजनाएं – महतारी वंदन को भाजपा ने पूरे प्रदेश में मुद्दा बनाया। फॉर्म्स भरवाए गए। कांग्रेस से पीसी के जरिए इसे आचार संहिता के विपरीत करार दिया, लेकिन दो ही दिन बाद अपनी ओर से गृहलक्ष्मी के रूप में ऐसी ही योजना बनाकर चुनाव में आ गई। इससे यह मुद्दा कमजोर पड़ा।

6. कर्जामाफी – कर्जामाफी को लेकर कांग्रेस फुल फ्रंटफुट पर रही, हर जगह किसानों का कर्जामाफ का ऐलान और फायदे बताती रही, भाजपा कर्जमाफी को सिर्फ बड़े किसानों को लाभ बताकर खारिज करते हुए उसके काउंटर में छूटा हुआ 2 साल का बोनस देने का प्रचार करती रही। 25 दिसंबर की तारीख बताती रही।

7. विकास – विकास एक बड़ा मुद्दा रहा, जिसमें भाजपा कांग्रेस को घेरती रही, लेकिन कांग्रेस इस मामले में कोई बात कहती नजर नहीं आई।

8. पीएम आवास – आवास के मामले में साढ़े 17 लाख घर को कांग्रेस प्रचारित करती रही, जवाब में भाजपा ने 18 लाख मकानों की बात कही, साथ में आरोप लगाए कांग्रेस सरकार ने केंद्र से भेजे घर रोक रखे हैं।

9. आक्रामक प्रचार – अकबर, गोबर, ढेबर भी चुनावों में मुद्दे के रूप में छाए रहे, बिस्वसरमा के निशाने पर कवर्धा से कांग्रेस प्रत्याशी मोहम्मद अकबर निशाने पर रहे तो गोठान मे गोबर घोटाले पर भाजपा फ्रंटफुट पर रही, कांग्रेस इसका जवाब नहीं दे पाई, साथ ही ढेबर का मसला रायपुर और ऐसी ही शहरी सीटों पर आक्रामक ढंग से भाजपा ने खेला, कांग्रेस इसे धार्मिक उन्माद फैलाने की साजिश बताती रही।

10. भ्रष्टाचार – भ्रष्टाचार भी राष्ट्रीय नेताओं के लिए बड़ा मुद्दा रहा, भाजपा मुख्यमंत्री समेत तमाम सरकार पर आरोप लगाते रहे, जवाब में कांग्रेस एमपी में नरेंद्र सिंह तोमर के बेटे का एक वीडियो लेकर हमलावर रही, वैशाली प्रत्याशी रिकेश सेन का एक वीडियो लेकर आई, जिसमें वे सीटों के बदले पैसों की बात कह रहे हैं।

सर्वे फॉर्म: छत्तीसगढ़ में किसकी बनेगी सरकार, कौन बनेगा सीएम? इस लिंक पर ​क्लिक करके आप भी दें अपना मत
सर्वे फॉर्म: मध्यप्रदेश में किसकी बनेगी सरकार, कौन बनेगा सीएम? इस लिंक पर ​क्लिक करके आप भी दें अपना मत
IBC24 की अन्य बड़ी खबरों के लिए यहां क्लिक करें
Follow the IBC24 News channel on WhatsApp


लेखक के बारे में

A journey of 10 years of extraordinary journalism.. a struggling experience, opportunity to work with big names like Dainik Bhaskar and Navbharat, priority given to public concerns, currently with IBC24 Raipur for three years, future journey unknown