Crisis situation in Sri Lanka : श्रीलंका- पुराणों में जहां लंका को एक सक्षम राज्य कहा गया है। वह आज कई परेशानियां से जूझ रहा है। जैसा कि हम सभी को ज्ञात है कि त्रेता युग में लंका पर रावण का राज हुआ करता था। जिसके राज में राजा से लेकर प्रजा तक सोने के महलों में राज किया करती थी और धन-धान्य से संपन्न राज्य था। रावण की लंका जलने पर भी वह लंका कभी कमजोर राज्य नहीं हुआ। रावण लंका का राष्ट्रपति माना जाता था। भले ही वह एक घमंडी राजा था लेकिन अपनी प्रजा की मदद में वह कभी पीछे नहीं हटा। धन-संपत्ति के देवता कुबेर द्वारा लंका को बसाया गया था। वहीं अगर कलयुग की लंका की बात करें तो आज की लंका में प्रजा का हाल बेहाल है। लंका की जनता बढ़ती मंहगाई को लेकर त्राही-त्राही कर रही है। एक ओर जहां जनता का हाल बेहाल है तो दूसरी ओर वर्तमान लंका के राजा ने अपने कदम पीछे हटा लिए है। आज पूरा विश्व श्रीलंका के हालातों से वाकिफ है। वहां पर त्रेता युग जैसे युद्ध के हालात बने हुए है बस फर्क इतना है कि उस समय का युद्ध का कारण एक नारीथी और कलयुग के युद्ध का कारण महंगाई है। आज श्रीलंका पूरी तरह से कर्ज में डूब गया है ।〈 >>*IBC24 News Channel के WhatsApp ग्रुप से जुड़ने के लिए यहां Click करें*<< 〉
Crisis situation in Sri Lanka : वहीं डूबती अर्थव्यवस्था और बढ़ती मंहगाई से जनता में आक्रोश तेज हो गया हैं। जनता का विद्रोह इतना बढ गया कि वहां के राष्ट्रपति अपना महल तक नहीं बचा पाए। आक्रोशित जनता ने राष्टपति भवन पर हमला कर दिया और कब्जे में ले लिया और तो और सरकारी मिडिया तक अपना कार्यालय नहीं बचा पायी। लोगों ने सरकारी चैनलों पर अपना राज जमा लिया। बढते आक्रोश को देख वहां के राष्ट्रपति का भागना पडा और दूसरे देशों की शरण लेनी पड़ी ।
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Crisis situation in Sri Lanka : श्रीलंका में बढ़ती मंहगाई से जनता का हाल बेहाल हो गया है। जनता खाने की मोहताज हो गई है। कुछ वस्तुऐं तो ऐसी है जो अब श्रीलंका में बची ही नहीं हैं।
वाहनों के ईधन के लिए लंबी-लंबी कतारे लगी हुई है। चावल,दाल,शक्कर,तेल का स्टॉक लगभग खत्म होने की कगार में है। अगर जल्द ही श्रीलंका के हालात नहीं सुधरे तो स्थिति बहुत भयानक होने वाली है। जनता बेकाबू हो चुकी है। श्रीलंका की जनता पूरी तरह से सडकों पर उतर आई है। जगह-जगह तोड़फोड़ की जा रही है। गाडियों में आग लगाई जा रही है। श्रीलंका के बढ़ते हालातों को देखते हुए वहां की जनता ने अन्य संपन्न देशों से मदद की गुहार लगाई है।
Crisis situation in Sri Lanka : श्रीलंका के बिगड़ते हालातों के बीच अब जनता को एक हनुमान की जरूरत है। जो वहां के लोगों को बढती मंहगाई और भुखमरी से बचाने के लिए उनकों सजीवनी दिलाए। अगर देखा जाए तो वहां की जनता का सबसे ज्यादा भारत देश से मदद की उम्मीद हैं। वहां की जनता ने सोशल मिडिया पर विडियो के माध्यम से कहा भी है कि श्रीलंका के हालातों को देखते हुए भारत आगें आए और उनकी मदद करे। उनका मानन है कि भारत ने अफगानिस्तान और बांग्लादेश के लोगों की मदद पहले ही कर चुका है और अब भारत ही है जो श्रीलंका की मदद कर “संजीवनी” दे सकता है
Crisis situation in Sri Lanka : श्रीलंका का आर्थिक संकट का सामना करना पड़ रहा है। लोगों की नाराजगी और विरोध-प्रदर्शन के बाद पूर्व प्रधानमंत्री महिंदा राजपक्षे ने पहले ही ईस्तीफा दे दिया था। जिसके बाद विक्रमसिंघे को देश का नया पीएम चुना गया था वहीं जब गोटबाया राजपक्षे ने अपना ईस्तीफा दिया तो विक्रमसिंघे को कार्यवाहक राष्ट्रपति बनाया गया। वहीं श्रीलंका संसद में नये राष्टपति का चुनाव हुआ तो रानिल विक्रमसिंघे को 134 वोट प्राप्त हुए और वह श्रीलंका के नये राष्ट्रपति चुने गए। वहीं अब यह देखना होगा कि विक्रमसिंघे अपने देश और प्रजा को कैसे संकट से मुक्त करेंगे।
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