Reported By: Arun Soni
,The truth of Chhattisgarh Health System || Image- IBC24 News File
बलरामपुर: छत्तीसगढ़ के बलरामपुर जिले में स्वास्थ्य सेवाओं की गंभीर कमी का एक चिंताजनक मामला सामने आया है, (The truth of Chhattisgarh Health System) जिसने स्वास्थ्य विभाग की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े कर दिए हैं।
दरअसल दूरस्थ ग्राम पंचायत मनोहरपुर की एक गर्भवती महिला को प्रसव पीड़ा होने पर, उसके परिजन किसी तरह उसे शंकरगढ़ सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र लेकर पहुंचे। वहां डॉक्टर ने प्राथमिक जांच के बाद उसे अंबिकापुर रेफर कर दिया। हालांकि, 102 महतारी एंबुलेंस उपलब्ध न होने के कारण, परिजनों को मजबूरन महिला को पिकअप वाहन के पीछे लिटाकर अंबिकापुर ले जाना पड़ा। वही रास्ते में महिला की हालत बिगड़ने पर, परिजनों ने उसे सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र राजपुर में भर्ती कराया। इस दौरान, महिला दर्द से चिल्ला रही थी और तड़प रही थी। पिकअप वाहन में महिला की यह स्थिति स्वास्थ्य सेवाओं की बदहाली को दर्शाती है।
राजपुर में पदस्थ बीएमओ डॉ. राम प्रसाद तिर्की ने मीडिया से बातचीत में कहा कि यदि महिला को इस हालत में अंबिकापुर की जर्जर सड़क पर ले जाया जाता, तो उसका प्रसव गाड़ी में ही हो सकता था। (The truth of Chhattisgarh Health System) उन्होंने यह भी कहा कि यदि शासन की ओर से वाहन की सुविधा है, तो हितग्राहियों को यह मिलनी चाहिए। इस मामले में बलरामपुर जिले के सीएमएचओ ने आईबीसी 24 से फोन पर बात करते हुए जांच के निर्देश दिए हैं।
यह घटना स्वास्थ्य विभाग की लापरवाही और आपातकालीन सेवाओं की कमी को उजागर करती है। आवश्यक है कि संबंधित अधिकारी इस मामले की गंभीरता से जांच करें और भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति रोकने के लिए उचित कदम उठाएं।
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