Mahasamund News: छत्तीसगढ़ में शिक्षा विभाग की बड़ी लापरवाही! 5433 छात्रों को पांच महीने बाद भी नहीं मिली बोर्ड मार्कशीट, नए सत्र में एडमिशन पर संकट

Mahasamund News: छत्तीसगढ़ में शिक्षा विभाग की बड़ी लापरवाही! 5433 छात्रों को पांच महीने बाद भी नहीं मिली बोर्ड मार्कशीट, नए सत्र में एडमिशन पर संकट

Mahasamund News: छत्तीसगढ़ में शिक्षा विभाग की बड़ी लापरवाही! 5433 छात्रों को पांच महीने बाद भी नहीं मिली बोर्ड मार्कशीट, नए सत्र में एडमिशन पर संकट

Mahasamund News/Image Source: IBC24

Modified Date: August 13, 2025 / 12:19 pm IST
Published Date: August 13, 2025 12:19 pm IST
HIGHLIGHTS
  • महासमुंद में छात्रों की पढ़ाई ठप,
  • पांच महीने बाद भी नहीं मिली बोर्ड मार्कशीट,
  • शिक्षा विभाग पर नाराजगी,

महासमुंद: Mahasamund News: छत्तीसगढ़ के महासमुंद जिले में शिक्षा विभाग का हैरतअंगेज कारनामा सामने आया है। महासमुंद जिले में कक्षा 5वीं एवं 8वीं बोर्ड की परीक्षा समाप्त हुए लगभग 5 माह बीत गए हैं। नए शिक्षा सत्र के एडमिशन की अंतिम तिथि निकल गई, पर जिले के 5433 छात्रों को अभी तक उनकी मार्कशीट ही नहीं मिली है जिससे इन छात्रों को काफी परेशानी हो रही है। वहीं शिक्षा विभाग के आला अधिकारी अपनी ढपली, अपना राग अलाप रहे हैं।

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Mahasamund News: महासमुंद जिले में कक्षा 5वीं के 17103 एवं कक्षा 8वीं के 17758 बच्चों ने माध्यमिक शिक्षा मंडल में बोर्ड परीक्षा दी थी पर 5वीं के 2697 छात्रों एवं 8वीं के 2736 छात्र-छात्राओं को मार्कशीट अभी तक प्राप्त नहीं हुई है। मार्कशीट में नाम और अंकों में त्रुटि होने के कारण इन्हें सुधार के लिए बोर्ड में भेजा गया है, परंतु आज तक मार्कशीट सुधरकर नहीं आई है। शासन द्वारा एकलव्य, प्रयास, नवोदय, छात्रवृत्ति सभी योजनाओं में मार्कशीट अनिवार्य है। 8वीं पास हो चुके छात्रों ने दूसरे स्कूलों में एडमिशन ले लिया है पर उन स्कूलों से लगातार छात्रों से मार्कशीट मांगी जा रही है। छात्र परेशान हैं और उन्हें काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है।

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Mahasamund News कस्तूरबा गांधी विद्यालय में 34 बच्चों ने कक्षा 8वीं की परीक्षा दी है, परंतु 30 बच्चों को अभी तक मार्कशीट प्राप्त नहीं हुई है। कस्तूरबा गांधी विद्यालय की अधीक्षिका इसकी सूचना लगातार उच्च अधिकारियों को दे रही हैं पर उन्हें भी नहीं मालूम कि मार्कशीट कब तक मिलेगी। वहीं जिले के शिक्षा अधिकारी अपनी ढपली, अपना राग अलाप रहे हैं। बच्चे पढ़ेंगे, देश गढ़ेंगे यह स्लोगन पढ़ने और सुनने में अच्छा लगता है। लेकिन जब बच्चों का बिना मार्कशीट एडमिशन न हो छात्रवृत्ति न मिले तो बच्चे कैसे आगे पढ़ेंगे और देश कैसे गढ़ेंगे? यह एक बड़ा सवाल है।


सामान्यतः पूछे जाने वाले प्रश्नः

लेखक के बारे में

टिकेश वर्मा- जमीनी पत्रकारिता का भरोसेमंद चेहरा... टिकेश वर्मा यानी अनुभवी और समर्पित पत्रकार.. जिनके पास मीडिया इंडस्ट्री में 12 वर्षों से अधिक का व्यापक अनुभव हैं। राजनीति, जनसरोकार और आम लोगों से जुड़े मुद्दों पर बेबाकी से सरकार से सवाल पूछता हूं। पेशेवर पत्रकारिता के अलावा फिल्में देखना, क्रिकेट खेलना और किताबें पढ़ना मुझे बेहद पसंद है। सादा जीवन, उच्च विचार के मानकों पर खरा उतरते हुए अब आपकी बात प्राथिकता के साथ रखेंगे.. क्योंकि सवाल आपका है।