खेती किसानी का काम शुरू होने से पहले किसानों को मिली बड़ी राहत, खसरा, बी-1 के लिए नहीं देनें होंगे एक भी रुपए

किसानों को मिली बड़ी राहत, खसरा, बी-1 के लिए नहीं देनें होंगे एक भी रुपए! Chhattisgarh sarkar ne kisano ko di badi rahat

खेती किसानी का काम शुरू होने से पहले किसानों को मिली बड़ी राहत, खसरा, बी-1 के लिए नहीं देनें होंगे एक भी रुपए
Modified Date: June 10, 2023 / 09:26 am IST
Published Date: June 10, 2023 9:26 am IST

रायपुर: Chhattisgarh sarkar ne kisano ko di badi rahat जिले के सभी तहसीलों में हर भूमिस्वामी किसान को उसके स्वामित्य के भूमि के खसरा एवं बी-1 का निःशुल्क मिलेगा। किसानों को प्रत्येक गांवों में शिविर या घर पर संपर्क कर खसरा, बी-1 का वितरण किया जाएगा। जो कृषक दिव्यांग हो या किसी बीमारी से ग्रसित हो उसे ग्राम का पटेल या पटवारी घर जा कर प्रदान करेगा। किसानों को उनकी भूमि के रिकार्ड निःशुल्क खसरा, बी-01 वितरण योजना के तहत उपलब्ध कराये जाएंगे। भूमि के रिकार्ड मिल जाने से किसानों को आगामी खरीफ मौसम में खेती के लिए आर्थिक सहायता, कृषि ऋण आदि लेने में आसानी होगी। इसके साथ ही आय, निवास, जाति आदि दस्तावेज बनाने के लिए भी भूमि के रिकार्ड का उपयोग किया जा सकेगा।

Read More: आज ग्वालियर आएंगे भाजपा के राष्ट्रीय महामंत्री, उप मुख्यमंत्री डी.के शिवकुमार भी रहेंगे दतिया दौरे पर 

Chhattisgarh sarkar ne kisano ko di badi rahat शासन द्वारा जारी निर्देशो के अनुसार खसरा भाग – 1, भाग – 2 एव बी-1, का वितरण प्रत्येक ग्राम के भूमिस्वामियों को पूर्णतया निःशुल्क किया जाएगा। वितरण के लिये खसरा भाग-1, भाग – 2 एव बी-1 एवं वितरण पंजी का पोर्टेबल डॉक्यूमेंट फॉर्मेट (पी. डी. एफ.), भुईयां पोर्टल से डाउनलोड करने के लिये उपलब्ध कराया जायेगा। आयुक्त, भू अभिलेख के द्वारा अभिलेख तहसीलवार डाउनलोड के लिये उपलब्ध कराया जायेगा। प्रत्येक तहसील के पी. डी. एफ. को डाउनलोड करके मुद्रण हेतु प्रेषित किया जायेगा ताकि वितरण हेतु अभिलेख उपलब्धता की निरंतरता बनी रहेगी।

 ⁠

Read More: Sunder Pichai Birthday: न टीवी न अलग कमरा, फर्श पर सोकर बिताया बचपन, जानें सुन्दर पिचाई कैसे बने गूगल के CEO

अभिलेखों के वितरण पर भूमि स्वामी के द्वारा किसी प्रविष्टि को त्रुटिपूर्ण बताए जाने की स्थिति में छत्तीसगढ़ भू राजस्व संहिता की धारा 115 के तहत उपखण्ड अधिकारी के समक्ष आवेदन प्रस्तुत करने के लिये अवगत कराया जायेगा । साथ ही किसी भू स्वामी के द्वारा इन अभिलेखों को अस्वीकार किया जाता है तो उनको इस योजना के उद्देश्य से अवगत कराया जायेगा और फिर भी वह अस्वीकार करे तो इस आशय की अभ्युक्ति वितरण पंजी में पटवारी के द्वारा दर्ज कर दी जायेगी और अवितरित अभिलेख तहसीलदार को वापस कर दिये जायेंगे। अभिलेखों के वितरण के दौरान यदि यह संज्ञान में आता है कि भूमिस्वामी की मृत्यु हो गयी है तो पटवारी या तहसीलदार का यह दायित्व होगा कि वह ऐसे मृतक भूमिस्वामी के नामांतरण की कार्यवाही प्रारंभ करे।

 

 

 

देश दुनिया की बड़ी खबरों के लिए यहां करें क्लिक


लेखक के बारे में

"दीपक दिल्लीवार, एक अनुभवी पत्रकार हैं, जिन्हें मीडिया इंडस्ट्री में करीब 10 साल का एक्सपीरिएंस है। उन्होंने अपने करियर की शुरुआत एक ऑनलाइन समाचार वेबसाइट से की थी, जहां उन्होंने राजनीति, खेल, ऑटो, मनोरंजन टेक और बिजनेस समेत कई सेक्शन में काम किया। इन्हें राजनीति, खेल, मनोरंजगन, टेक्नोलॉजी, ऑटोमोबाइल और बिजनेस से जुड़ी काफी न्यूज लिखना, पढ़ना काफी पसंद है। इन्होंने इन सभी सेक्शन को बड़े पैमाने पर कवर किया है और पाठकों लिए बेहद शानदार रिपोर्ट पेश की है। दीपक दिल्लीवार, पिछले 5 साल से IBC24 न्यूज पोर्टल पर लीडर के तौर पर काम कर रहे हैं। इन्हें अपनी डेडिकेशन और अलर्टनेस के लिए जाना जाता है। इसी की वजह से वो पाठकों के लिए विश्वसनीय जानकारी के सोर्स बने हुए हैं। वो, निष्पक्ष, एनालिसिस बेस्ड और मजेदार समीक्षा देते हैं, जिससे इनकी फॉलोवर की संख्या में लगातार इजाफा हो रहा है। काम के इतर बात करें, तो दीपक दिल्लीवार को खाली वक्त में फिल्में, क्रिकेट खेलने और किताब पढ़ने में मजा आता है। वो हेल्दी वर्क लाइफ बैलेंस करने में यकीन रखते हैं।"