बिलासपुर। बिलासपुर हाईकोर्ट ने चिटफंड कंपनियों के एजेंट के रूप में काम करने वाले लोगों की याचिका पर सुनवाई करते हुए 6 चिटफंड कंपनियों पर FIR दर्ज करने के निर्देश जारी किए हैं। हाईकोर्ट ने राज्य शासन से कहा है कि वो चिटफंड कंपनियों पर FIR दर्ज करे और विवेचना के बाद हाईकोर्ट को रिपोर्ट पेश करे।
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चिटफंड कंपनियों के एजेंटों में हाईकोर्ट में याचिका पेश कर खुद को पीड़ित बताया है और कहा है कि बड़ी बड़ी चिटफंड कंपनियों बड़े नेताओं को अपने कार्यक्रमों में बुलाती हैं और फिर उनका चेहरा इस्तेमाल कर वो लोगों के पैसे लेकर भाग जाती हैं, ऐसे में एजेंट फंस जाते हैं और उनके खिलाफ जुर्म दर्ज हो जाता है। याचिका पर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने 6 चिटफंड कंपनियों पर जुर्म दर्ज करने के आदेश दिए हैं।
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प्रदेश में कई चिटफंड कंपनियों ने अपनी योजनाओं में निवेश करने पर कुछ ही सालों में राशि दोगुनी कर लौटाने का भरोसा दिलाया। आम लोगों ने भी कंपनियों पर भरोसा जताते हुए योजनाओं में अपनी मेहनत की जमा-पूंजी निवेश की। बाद में अधिकांश कंपनियों के दफ्तर बंद हो गए तब लोगों को ठगी का पता चला। पीड़ितों की शिकायत पर कई कंपनियों के खिलाफ प्रदेश के विभिन्न थानों में प्रकरण दर्ज किए गए लेकिन ज्यादातर मामलों में कंपनियों के संचालकों की जगह एजेंटों पर कार्रवाई की जा रही है।