Ahmadabad Plane Crash: इस वजह से हुआ था अहमदाबाद प्लेन हादसा! पूर्व वायुसेना अध्यक्ष अरूप राहा का बड़ा दावा

Ahmadabad Plane Crash: एअर इंडिया के दुर्घटनाग्रस्त विमान के इंजन में अहम समय में ऊर्जा आपूर्ति बाधित हुई थी: अरूप राहा

Ahmadabad Plane Crash: इस वजह से हुआ था अहमदाबाद प्लेन हादसा! पूर्व वायुसेना अध्यक्ष अरूप राहा का बड़ा दावा

Ahmadabad Plane Crash, image source: social media

Modified Date: June 14, 2025 / 08:17 pm IST
Published Date: June 14, 2025 6:55 pm IST
HIGHLIGHTS
  • निश्चित रूप से एक महत्वपूर्ण चरण में ऊर्जा में कमी आई : अरूप राहा
  • बोइंग 787-8 विमान के दुर्घटनाग्रस्त होने का कारण पक्षी का टकराना नहीं 

कोलकाता: Ahmadabad Plane Crash , पूर्व वायुसेना अध्यक्ष एयर चीफ मार्शल अरूप राहा (सेवानिवृत्त) ने शनिवार को दावा किया कि 12 जून को अहमदाबाद हवाई अड्डे के निकट दुर्घटनाग्रस्त हुए एअर इंडिया के विमान के इंजन में निश्चित रूप से महत्वपूर्ण चरण में ऊर्जा बाधित हो गई थी और उसे ठीक करने का कोई समय नहीं था। उन्होंने कहा कि दुर्घटना के पीछे कई अन्य कारण भी हो सकते हैं, जैसे ईंधन में मिलावट, तथा सॉफ्टवेयर और नियंत्रण प्रणालियों में गड़बड़ी।

राहा ने कुछ लोगों द्वारा जताई गई तोड़फोड़ की आशंका को खारिज करते हुए कहा कि सभी तरह की अटकलों से बचना चाहिए और नागरिक विमानन महानिदेशालय (डीजीसीए) द्वारा जांच पूरी होने तक इंतजार किया जाना चाहिए। अहमदाबाद से लंदन के गैटविक जा रही एअर इंडिया की उड़ान एआई171 बृहस्पतिवार को सरदार वल्लभभाई पटेल हवाई अड्डे से उड़ान भरने के कुछ ही देर बाद एक मेडिकल कॉलेज परिसर की इमारतों से टकरा गया, जिससे विमान में सवार 242 लोगों में से 241 लोगों की मौत हो गई, तथा जमीन पर भी कई अन्य लोग मारे गए।

Ahmadabad Plane Crash, पूर्व वायुसेना प्रमुख ने रक्षा क्षेत्र में एमएसएमई की भूमिका पर आईसीसी के एक कार्यक्रम से इतर संवाददाताओं से कहा, ‘‘यह बहुत दुखद और हृदय विदारक है। इतने सारे लोग एक साथ मारे गए। अभी यह कहना बहुत मुश्किल है कि क्या गलत हुआ है।’’

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निश्चित रूप से एक महत्वपूर्ण चरण में ऊर्जा में कमी आई

उन्होंने कहा, ‘‘निश्चित रूप से ऊर्जा में कमी आई और एक महत्वपूर्ण चरण में… आप जमीन से हवा में उड़ रहे हैं, आपकी ऊंचाई कम है। संभलने का कोई समय नहीं था। और इंजन की शक्ति में कमी के परिणामस्वरूप विमान रुक जाएगा… (विमान) फिर बहुत तेजी से नीचे गिरेगा और दुर्घटनाग्रस्त हो जाएगा। और यही हुआ था।’’

वायुसेना के पूर्व अधिकारी ने कहा कि बोइंग 787-8 ड्रीमलाइनर के इंजन ‘धकेलते’ हैं और एक साथ दोनों इंजनों की ऊर्जा बाधित होना बहुत दुर्लभ है – ‘‘शायद एक अरब मामलों में एक’’। राहा ने कहा कि यह कहना कठिन है कि कहां गलती हुई। उन्होंने अन्य संभावनाओं के बारे में भी बात की।

राहा ने कहा, ‘‘सॉफ्टवेयर में कोई समस्या हो सकती है, नियंत्रण (प्रणाली) में कुछ समस्या हो सकती है, ईंधन में संदूषण हो सकता है… लेकिन मैं तोड़फोड़ की बात पर विश्वास नहीं करता। ऊर्जा आपूर्ति बंद हो जाना किसी गड़बड़ी का संकेत है।’’

उन्होंने कहा, ‘‘जब तक डीजीसीए और सरकार की अन्य एजेंसियां ​​जांच पूरी नहीं कर लेतीं, हमें कोई बेबुनियाद दावा नहीं करना चाहिए।’’ राहा ने जमीन पर काम करने वाले कर्मियों की भूमिका के बारे में पूछे जाने पर कहा कि उन्हें विमान द्वारा उठाए गए वजन का प्रमाण पत्र देना होता है।

बोइंग 787-8 विमान के दुर्घटनाग्रस्त होने का कारण पक्षी का टकराना नहीं

राहा ने कहा, ‘‘जमीन पर मौजूद इन सूचनाओं के आधार पर पायलट उड़ान भरता है। आप निर्धारित आंकड़ों में कई किलोग्राम नहीं जोड़ सकते। लेकिन जैसा कि मैंने कहा कि जांच से कारण और कारक सामने आएंगे।’’ वायुसेना के पूर्व अधिकारी ने कहा कि उन्हें नहीं लगता कि बोइंग 787-8 विमान के दुर्घटनाग्रस्त होने का कारण पक्षी का टकराना हो सकता है।

राहा ने कहा, ‘‘उनकी अपनी ही कंपनी के व्हिसलब्लोअर द्वारा शिकायतें की गई थीं। मुझे लगता है कि उनकी जांच होनी चाहिए।’’ इससे पहले आईसीसी कार्यक्रम को संबोधित करते हुए उन्होंने विमान इंजन का निर्माण देश में ही करने की वकालत की।

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लेखक के बारे में

डॉ.अनिल शुक्ला, 2019 से CG-MP के प्रतिष्ठित न्यूज चैनल IBC24 के डिजिटल ​डिपार्टमेंट में Senior Associate Producer हैं। 2024 में महात्मा गांधी ग्रामोदय विश्वविद्यालय से Journalism and Mass Communication विषय में Ph.D अवॉर्ड हो चुके हैं। महात्मा गांधी अंतरराष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय वर्धा से M.Phil और कुशाभाऊ ठाकरे पत्रकारिता एवं जनसंचार विश्वविद्यालय, रायपुर से M.sc (EM) में पोस्ट ग्रेजुएशन किया। जहां प्रावीण्य सूची में प्रथम आने के लिए तिब्बती धर्मगुरू दलाई लामा के हाथों गोल्ड मेडल प्राप्त किया। इन्होंने गुरूघासीदास विश्वविद्यालय बिलासपुर से हिंदी साहित्य में एम.ए किया। इनके अलावा PGDJMC और PGDRD एक वर्षीय डिप्लोमा कोर्स भी किया। डॉ.अनिल शुक्ला ने मीडिया एवं जनसंचार से संबंधित दर्जन भर से अधिक कार्यशाला, सेमीनार, मीडिया संगो​ष्ठी में सहभागिता की। इनके तमाम प्रतिष्ठित पत्र पत्रिकाओं में लेख और शोध पत्र प्रकाशित हैं। डॉ.अनिल शुक्ला को रिपोर्टर, एंकर और कंटेट राइटर के बतौर मीडिया के क्षेत्र में काम करने का 15 वर्ष से अधिक का अनुभव है। इस पर मेल आईडी पर संपर्क करें anilshuklamedia@gmail.com