दिल्ली सरकार ने आबकारी नियमों में बदलाव कर शुल्क रहित वाइन का कोटा बढ़ाकर 4,000 लीटर किया

दिल्ली सरकार ने आबकारी नियमों में बदलाव कर शुल्क रहित वाइन का कोटा बढ़ाकर 4,000 लीटर किया

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  • Publish Date - December 23, 2025 / 08:48 PM IST,
    Updated On - December 23, 2025 / 08:48 PM IST

नयी दिल्ली, 23 दिसंबर (भाषा) दिल्ली सरकार ने क्रिसमस से पहले गिरजघरों में धार्मिक अनुष्ठानों में इस्तेमाल होने वाली वाइन की मात्रा 91 लीटर से बढ़ाकर 4,000 लीटर कर दी है। अधिकारियों ने मंगलवार को यह जानकारी दी।

सरकार ने दिल्ली आबकारी नियम, 2010 में संशोधन के जरिए लाइसेंस धारकों के लिए वाणिज्यिक व औद्योगिक उपयोग के लिए ‘डिनैचर्ड स्पिरिट’ की खरीद और भंडारण की मात्रा भी बढ़ा दी है।

‘डिनैचर्ड स्पिरिट’ वह वाइन होती है, जिसे पीने योग्य न बनाने के लिए रसायन मिलाया जाता है।

वित्त विभाग की ओर से सोमवार को जारी एक अधिसूचना में कहा गया कि दिल्ली आबकारी नियम, 2010 के नियम 20 में संशोधन किया गया है।

अधिसूचना में कहा गया है, “दिल्ली के बिशप हर साल चर्च में धार्मिक अनुष्ठानों और धार्मिक समारोहों में इस्तेमाल के लिए 4,000 लीटर तक शुल्क रहित वाइन की खरीद और भंडारण की अनुमति होगी।”

अधिसूचना में कहा गया है कि भारत के किसी भी हिस्से में अधिकृत शराबघर से एक या एक से अधिक परमिट के माध्यम से वाइन खरीदी जा सकती है, हालांकि इसके लिए आबकारी आयुक्त की मंजूरी जरूरी है।

पहले, दिल्ली में धार्मिक अनुष्ठानों के लिए केवल 91 लीटर वाइन खरीदने व रखने की अनुमति थी।

अधिसूचना में कहा गया है कि फॉर्म पी-6 की विशेष शर्त में भी संशोधन किया गया है, और लाइसेंस प्राप्त परिसर में रखी जा सकने वाली विशेष ‘डिनैचर्ड स्पिरिट’ की मात्रा 6,744 किलोलीटर से बढ़ाकर अब बढ़ाकर 15,000 किलोलीटर कर दी गई है।

सालाना ‘डिनैचर्ड स्पिरिट’ रखने की अधिकृत सीमा 64,000 किलोलीटर से बढ़ाकर 1,20,000 किलोलीटर कर दी गई है।

भाषा जोहेब सुभाष

सुभाष