New Rule on Electricity rate : नई दिल्ली। देश में बढ़ती महंगाई में ईंधन जैसे कोयला, तेल और गैस की भारी कीमतों की दरों से जूझ रहा है। साथ ही विद्युत उत्पादन गृहों में इस्तेमाल होने वाले ईंधन के उत्पादन में कमी की वजह से इसकी कीमतों के आधार पर बिजली दरें तय की जाएंगी। बिजली की दरें भी इस तर्ज पर बदले जाएँगी जैसे डीजल-पेट्रोल की दरों में बदलाव किया जाता है। वैसे तो डीजल-पेट्रोल की दरों में रोजाना बदलाव होता है जबकि बिजली दरों में अब हर महीने बदलाव होगा।
दरअसल, विद्युत उत्पादन गृहों में इस्तेमाल होने वाले ईंधन जैसे कोयला, तेल और गैस आदि की कीमतों के आधार पर बिजली दरें तय की जाएंगी। इसकी वसूली उपभोक्ताओं से की जाएगी। इस नए प्रावधान के अगले साल के शुरुआत से प्रभावी होने की संभावना है।
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New Rule on Electricity rate: केंद्रीय विद्युत मंत्रालय ने विद्युत अधिनियम 2003 की धारा 176 के तहत 2005 में पहली बार विनियम बनाए थे। अब इसमें संशोधन की तैयारी है। इसके लिए विद्युत विनियम 2022 का मसौदा जारी किया गया। अब से बिजली दरों में बदलाव हर महीने होगा। दरअसल, विद्युत उत्पादन गृहों में इस्तेमाल होने वाले ईंधन जैसे कोयला, तेल और गैस आदि की कीमतों के आधार पर बिजली दरें तय की जाएंगी।
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