श्रीनगर, 29 दिसंबर (भाषा) हुर्रियत कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष मीरवाइज उमर फारूक ने शुक्रवार को दावा किया कि उन्हें यहां जामिया मस्जिद में जुमे की नमाज अदा करने की अनुमति नहीं दी गई।
नौहट्टा इलाके में ऐतिहासिक मस्जिद में शुक्रवार की नमाज अदा करने की अनुमति दी गई थी, लेकिन कश्मीर के मुख्य इमाम मीरवाइज को शहर के बाहरी इलाके निगीन स्थित अपने आवास से बाहर जाने की अनुमति नहीं दी गई। वह मस्जिद में जुमे पर धर्मोपदेश भी देते हैं।
मीरवाइज ने धर्मोपदेश देने और जुमे की नमाज अदा करने से रोकने के लिए विशेष रूप से शुक्रवार को बार-बार ‘घर में नजरबंद’ करने की निंदा की।
मीरवाइज ने एक बयान में कहा कि अगस्त 2019 में नजरबंद करने के चार साल बाद 22 सितंबर को उन्हें रिहा किया गया, लेकिन तब से अबतक उन्हें केवल तीन शुक्रवार को जामिया मस्जिद जाने की अनुमति दी गई है।
उन्होंने कहा, ‘‘तब से हर शुक्रवार को मुझे अधिकारियों की ओर से बिना कोई कारण बताए नजरबंद किया गया है। कोई नहीं जानता कि मुझपर यह प्रतिबंध कब तक जारी रहेगा। अपनी मर्जी से अधिकारी जामिया मस्जिद को मुसलमानों के नमाज अदा करने के लिये खोल देते हैं या बंद कर देते हैं। कोई नहीं पूछ सकता है कि ऐसा क्यों होता है।’’
श्रीनगर की जामिया मस्जिद में 10 सप्ताह के बाद पिछले शुक्रवार को जुमे की नमाज अदा करने की अनुमति दी गई थी।
भाषा धीरज दिलीप
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