कोरोना की मार से भारतीय अर्थव्यवस्था को बाहर निकाल लाई मोदी सरकार? कोविडकाल से पहले की GDP से ज्यादा हुई विकास दर |

कोरोना की मार से भारतीय अर्थव्यवस्था को बाहर निकाल लाई मोदी सरकार? कोविडकाल से पहले की GDP से ज्यादा हुई विकास दर

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:   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:29 PM IST, Published Date : December 1, 2021/10:39 am IST

नई दिल्ली। मोदी सरकार कोरोना की मार से भारतीय अर्थव्यवस्था को बाहर निकाल आई है। चालू वित्त वर्ष 2021-22 की दूसरी तिमाही (जुलाई-सितंबर) में सभी सेक्टर के बेहतर प्रदर्शन की बदौलत सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) में 8.4 प्रतिशत की बढ़ोतरी दर्ज की गई। सबसे बड़ी बात यह है कि दूसरी तिमाही के जीडीपी में कोरोना पूर्व काल यानी वित्त वर्ष 2019-20 की दूसरी तिमाही के जीडीपी के मुकाबले 0.3 प्रतिशत ज्यादा रही। कोरोना पूर्व काल (2019-20) की दूसरी तिमाही में जीडीपी 35.61 लाख करोड़ रुपये थी जबकि चालू वित्त वर्ष की समान अवधि में यह 35.73 लाख करोड़ रुपये रही।

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चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही में जीडीपी में 20.1 प्रतिशत का इजाफा हुआ था, लेकिन वित्त वर्ष 2019-20 की पहली तिमाही के मुकाबले यह नौ प्रतिशत कम था। पिछले साल जुलाई-सितंबर में जीडीपी 32.97 लाख करोड़ रुपये थी।कोरोना को रोकने को लेकर किए गए सरकारी उपाय और वैक्सीन की दर में लगातार वृद्धि से इस साल जुलाई-सितंबर के दौरान भारत की जीडीपी वृद्धि दुनिया की 28 प्रमुख देशों में सबसे अधिक है।

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पिछले वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही में जीडीपी में 7.4 प्रतिशत की गिरावट दर्ज की गई थी। उसके बाद से हर तिमाही में जीडीपी में बढ़ोतरी का सिलसिला जारी है। हालांकि कुछ आर्थिक विशेषज्ञों का कहना है कि पिछले साल जीडीपी 7.4 प्रतिशत की गिरावट की वजह से चालू वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही में 8.4 प्रतिशत की बढ़ोतरी दिख रही है।

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मोतीलाल ओसवाल के मुख्य अर्थशास्त्री निखिल गुप्ता के मुताबिक दूसरी तिमाही में निवेश में उम्मीद से अधिक वृद्धि रही तो निजी खपत में थोड़ी कम वृद्धि रही। आंकड़ों के मुताबिक चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही में निजी खपत में 17,83,611 करोड़ खर्च किए गए जबकि दूसरी तिमाही में यह व्यय 19,48,346 करोड़ रहा। पिछले वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही में निजी खपत के मद में 17,93,863 करोड़ रुपए खर्च हुए थे।

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कृषि से जुड़े क्षेत्र में 4.5 प्रतिशत की वृद्धि

चालू वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही के ग्रास वैल्यू एडेड (जीवीए) के मुताबिक कृषि से जुड़े क्षेत्र में पिछले साल की समान अवधि के मुकाबले 4.5 प्रतिशत की बढ़ोतरी रही। मैन्यूफैक्चरिंग में पिछले साल की दूसरी तिमाही के मुकाबले 5.5 प्रतिशत तो खनन से जुड़े क्षेत्र में 15.4 प्रतिशत का इजाफा रहा। निर्माण क्षेत्र में 7.5 प्रतिशत तो सेवा क्षेत्र से जुडे होटल, ट्रांसपोर्ट, संचार जैसे क्षेत्रों में 8.2 प्रतिशत, वित्तीय और रियल एस्टेट सेवा क्षेत्र में 7.8 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई। बिजली, गैस, पानी आपूर्ति से जुड़े सेवा क्षेत्र में पिछले साल की समान अवधि के मुकाबले 8.9 प्रतिशत का इजाफा रहा।

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