चेन्नई, 11 जनवरी (भाषा) मद्रास उच्च न्यायालय ने ‘ऑल इंडिया अन्ना द्रविड़ मुनेत्र कषगम’ (अन्नाद्रमुक) से निष्कासित नेता ओ. पनीरसेल्वम की उस अपील को बृहस्पतिवार को खारिज कर दिया जिनमें एकल न्यायाधीश के आदेश को चुनौती दी गई थी।
एकल न्यायाधीश ने पनीरसेल्वम के पार्टी के आधिकारिक झंडे, आधिकारिक ‘लेटरहेड’ और ‘दो पत्तियों’ वाले चुनाव चिह्न का इस्तेमाल करने पर रोक लगा दी थी।
न्यायमूर्ति आर. महादेवन और न्यायमूर्ति मोहम्मद शफीक की खंडपीठ ने सात नवंबर, 2023 के आदेश के खिलाफ पनीरसेल्वम द्वारा दायर तीन अपील को खारिज कर दिया।
पीठ ने हालांकि पनीरसेल्वम (ओपीएस) को अपने खिलाफ पारित आदेश को रद्द करने के लिए आवश्यक आवेदन दायर करके एकल न्यायाधीश का रुख करने की छूट दी।
पीठ ने कहा कि इस तरह के आवेदन दाखिल करने पर न्यायाधीश गुण-दोष के आधार पर और कानून के अनुसार विचार करेंगे और उचित आदेश पारित करेंगे।
अन्नाद्रमुक महासचिव एवं पूर्व मुख्यमंत्री ई.के.पलानीस्वामी ने याचिका दायर कर पनीरसेल्वम द्वारा अन्नाद्रमुक का नाम, झंडा, चुनाव चिह्न और ‘लेटरहेड’ के इस्तेमाल किए जाने पर रोक लगाने का अनुरोध किया था।
न्यायमूर्ति एन सतीशकुमार ने पिछले साल नवंबर में पलानीस्वामी द्वारा दाखिल याचिका पर अंतरिम आदेश पारित किया था।
इसके बाद पनीरसेल्वम ने ये अपील दायर की थीं।
पीठ ने कहा, ‘‘हमने अपीलकर्ता (ओपीएस) के साथ-साथ प्रतिवादी (पलानीस्वामी) की ओर से उठाई गई दलीलों के गुण-दोष पर विचार करने से खुद को अलग कर लिया है।’’
पीठ ने कहा कि इस बात पर गौर किया जाना चाहिए कि अंतरिम राहत के रूप में न्यायाधीश द्वारा सात नवंबर, 2023 को पारित आदेश न्याय के हित में, उनके पास निहित विवेकाधिकार पर आधारित था।
भाषा
देवेंद्र नरेश
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