Daripalli Ramaiah Passed Away: पूरी जिंदगी करीब एक करोड़ पौधे लगाने वाले वनजीवी रमैया का निधन.. सरकार ने किया था पद्मश्री से सम्मानित

रामैया को उनके उत्कृष्ट कार्यों के लिए 1995 में सेवा पुरस्कार, 2005 में वनमित्र पुरस्कार और 2015 में राष्ट्रीय नवाचार एवं पारंपरिक ज्ञान पुरस्कार भी मिला था।

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  • Publish Date - April 12, 2025 / 12:10 PM IST,
    Updated On - April 12, 2025 / 12:10 PM IST

Vanjivi Daripalli Ramaiah passed away || Image- MLC Bomma Maheshkumar goud

HIGHLIGHTS
  • दरिपल्ली रामैया ने अकेले 1 करोड़ से अधिक पौधे लगाए।
  • पर्यावरण संरक्षण के लिए समर्पित जीवन, 2017 में मिला पद्म श्री सम्मान।
  • तेलंगाना सरकार की हरिता हरम योजना से जुड़े, समाज को किया जागरूक।

Vanjivi Daripalli Ramaiah passed away: हैदराबाद: पर्यावरण संरक्षण के लिए अपना पूरा जीवन समर्पित करने वाले “वनजीवी रामैया” के नाम से मशहूर पद्म श्री पुरस्कार विजेता दरिपल्ली रामैया का शनिवार, 12 अप्रैल को 87 वर्ष की आयु में निधन हो गया। वे लंबे समय से बीमार चल रहे थे। उनके निधन पर केंद्रीय मंत्री जी. किशन रेड्डी और तेलंगाना के मुख्यमंत्री ए. रेवंत रेड्डी सहित कई दिग्गज लोगों ने गहरा शोक व्यक्त किया है।

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केंद्रीय मंत्री किशन रेड्डी ने एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर शोक जताते हुए लिखा, “रामैया ने 1 करोड़ से अधिक पौधे लगाए और प्रकृति एवं पर्यावरण की रक्षा में अग्रणी भूमिका निभाई। उनका समर्पण हम सभी के लिए प्रेरणादायक रहेगा।”

Vanjivi Daripalli Ramaiah passed away: तेलंगाना के मुख्यमंत्री रेवंत रेड्डी ने भी एक बयान जारी कर उन्हें श्रद्धांजलि दी। उन्होंने कहा, “रामैया का मानना था कि प्रकृति और पर्यावरण के बिना मानव जाति का अस्तित्व संभव नहीं है। उन्होंने अकेले वृक्षारोपण की शुरुआत की और पूरे समाज को जागरूक किया। पद्म श्री सम्मान ने उन्हें युवाओं के लिए प्रेरणा का स्रोत बना दिया।”

कौन थे वनजीवी दरिपल्ली रामैया?

दरिपल्ली रामैया को वर्ष 2017 में पद्म श्री से सम्मानित किया गया था। खम्मम जिले के रहने वाले रामैया का जन्म 1 जुलाई 1937 को रेड्डीपल्ली गांव में हुआ था। उन्होंने अपने जीवन के पांच दशक से अधिक समय पर्यावरण संरक्षण को समर्पित कि। खम्मम जिले और उसके आस-पास के क्षेत्रों में 1 करोड़ से अधिक पौधे लगाने का श्रेय उन्हें जाता है।

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कई पुरस्कार से सम्मानित

Vanjivi Daripalli Ramaiah passed away : रामैया को उनके उत्कृष्ट कार्यों के लिए 1995 में सेवा पुरस्कार, 2005 में वनमित्र पुरस्कार और 2015 में राष्ट्रीय नवाचार एवं पारंपरिक ज्ञान पुरस्कार भी मिला था। तेलंगाना राज्य के गठन के बाद उन्हें राज्य सरकार की “तेलंगाना कु हरिता हरम” योजना के तहत सहयोग मिला, जिसका उद्देश्य प्रदेश के हरित क्षेत्र को 24 प्रतिशत से बढ़ाकर 33 प्रतिशत करना था।