Gwalior News: ग्वालियर में ‘कार्बाइड गन’ पर कलेक्टर की सख्त कार्रवाई, बच्चों की आँखों की रोशनी छीनने वाले इस खतरनाक ट्रेंड पर लगा पूर्ण प्रतिबंध, जानिए पूरा मामला…

ग्वालियर जिले में प्रशासन ने “कार्बाइड गन” के निर्माण, विक्रय, खरीद और उपयोग पर पूर्ण प्रतिबंध लगाने का निर्णय लिया है।

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  • Publish Date - October 23, 2025 / 04:35 PM IST,
    Updated On - October 23, 2025 / 04:35 PM IST

Gwalior News/ image source: IBC24

HIGHLIGHTS
  • ग्वालियर जिले में “कार्बाइड गन” पर बैन
  • निर्माण, क्रय, विक्रय और उपयोग प्रतिबंधित
  • कलेक्टर रूचिका सिंह चौहान ने जारी किया आदेश

Gwalior News: ग्वालियर: ग्वालियर जिले में प्रशासन ने “कार्बाइड गन” के निर्माण, विक्रय, खरीद और उपयोग पर पूर्ण प्रतिबंध लगाने का निर्णय लिया है। जिला कलेक्टर रूचिका सिंह चौहान ने धारा 163 के अंतर्गत यह प्रतिबंधात्मक आदेश जारी करते हुए स्पष्ट किया कि जिले की सीमा में कोई भी व्यक्ति इस खतरनाक उपकरण का निर्माण या उपयोग नहीं करेगा। आदेश का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई की जाएगी।

क्या है कार्बाइड गन, पढ़िए…

कार्बाइड गन, जिसे आम बोलचाल में “देसी पटाखा गन” या “जुगाड़ी बम” कहा जा रहा है, देश के कई हिस्सों में एक खतरनाक ट्रेंड बन गया है। खासकर मध्यप्रदेश, उत्तरप्रदेश और बिहार जैसे राज्यों में यह उपकरण बच्चों के बीच एक खतरनाक खेल के रूप में तेजी से फैल रहा है। स्थानीय स्तर पर आसानी से उपलब्ध सामग्रियों से बनाई जाने वाली यह गन विस्फोटक शक्ति उत्पन्न करती है, जो गंभीर दुर्घटनाओं का कारण बन रही है।

देशभर में ऐसे कई हादसे सामने आए हैं

Gwalior News: हाल ही में देशभर में ऐसे कई हादसे सामने आए हैं, जहाँ बच्चों की आँखों की रोशनी तक चली गई। कई मामलों में तो बच्चों को स्थायी चोटें आईं, जिससे उनकी जिंदगी हमेशा के लिए बदल गई। चिकित्सकों और सुरक्षा विशेषज्ञों ने चेतावनी दी है कि यह “खिलौना” नहीं, बल्कि एक घातक विस्फोटक उपकरण है, जो छोटी सी गलती पर बड़ी त्रासदी में बदल सकता है।

कलेक्टर ने क्या बताया ?

Gwalior News: कलेक्टर रूचिका सिंह चौहान ने अपने आदेश में कहा कि “कार्बाइड गन” का निर्माण, भंडारण, बिक्री या उपयोग पूरी तरह गैरकानूनी माना जाएगा। उन्होंने सभी थानों को निर्देशित किया है कि ऐसे किसी भी मामले की सूचना मिलते ही तत्काल कार्रवाई की जाए। साथ ही, पुलिस और प्रशासन की टीमें दुकानों, बाजारों और ग्रामीण क्षेत्रों में विशेष निगरानी अभियान भी चलाएँगी, ताकि इस खतरनाक जुगाड़ को जड़ से खत्म किया जा सके।

कलेक्टर ने अभिभावकों से भी अपील की है कि वे अपने बच्चों को इस तरह के खतरनाक उपकरणों से दूर रखें और उन्हें इस खिलौने जैसी दिखने वाली लेकिन विनाशकारी चीज़ के बारे में जागरूक करें। उन्होंने कहा कि कार्बाइड और पानी की प्रतिक्रिया से उत्पन्न गैस के दबाव से जब यह गन चलती है, तो उसका धमाका बारूद जैसे विस्फोट में बदल जाता है, जिससे आँखों और चेहरे पर गंभीर चोट लग सकती है।

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कार्बाइड गन क्या है?

यह एक खतरनाक देसी पटाखा गन या जुगाड़ी बम है, जिसे कार्बाइड और पानी की प्रतिक्रिया से बनाया जाता है।

ग्वालियर में इसे क्यों बैन किया गया है?

बच्चों की आँखों और चेहरे पर गंभीर चोटों के बढ़ते मामलों को देखते हुए प्रशासन ने यह कदम उठाया है।

इस प्रतिबंध के तहत क्या-क्या बैन किया गया है?

निर्माण, विक्रय, क्रय, भंडारण और उपयोग — सभी पर पूर्ण रोक लगाई गई है।