Gold Reserve in India: चिल्फी घाटी से 180 किलोमीटर दूर मिला सोने का विशाल भंडार…250 एकड़ में है फैला? मीडिया रिपोर्ट पर GSI के महानिदेशक ने किया बड़ा खुलासा
Gold Reserve in Jabalpur | चिल्फी घाटी से 180 किलोमीटर दूर मिला सोने का विशाल भंडार...250 एकड़ में है फैला? मीडिया रिपोर्ट पर GSI के महानिदेशक ने किया बड़ा खुलासा
- सोने का विशाल भंडार मिलने के दावा
- अभी खनन योग्य सोना मिलने की पुष्टि नहीं
- सर्वे प्रक्रिया पूरी होने के बाद ही होगा असली स्थिति का खुलासा
जबलपुर: Gold Reserve in Jabalpur मध्यप्रदेश के जबलपुर के सिहोरा तहसील में सोने का भंडार मिलने की खबर पिछले करीब दो-तीन से मीडिया में छाई हुई है। दावा किया जा रहा है कि लगभग 100 हेक्टेयर यानि करीब 250 एकड़ में सोने का भंडार है। इस खबर के मीडिया में आते ही एक बार फिर जबलपुर ने पूरे देश के लोगों का ध्यान अपनी ओर खींचा है। बता दें कि जबलपुर छत्तीसगढ़ के चिल्फी घाटी से 180 किलोमीटर के करीब है, जिसका फायदा यहां के लोगों को भी मिलेगा। वहीं, IBC24 से बात करते हुए जीएसआई यानि जियोलॉजिकल सर्वे ऑफ इंडिया के महानिदेशक ने सोने का विशाल भंडार होने के दावे पर कई अहम खुलासे किए हैं।
Gold Reserve in Jabalpur दरअसल जबलपुर में आयोजित जीएसआई की कॉन्फ्रेंस में हिस्सा लेने पहुंचे महानिदेशक आशित साहा ने कहा कि फिलहाल यहां कई हेक्टेयर क्षेत्र में सोने का भण्डार मिलने की पुष्टि नहीं की जा सकती। जीएसआई देश भर में 450 से ज्यादा और मध्यप्रदेश में 40 ऐसे प्रोजेक्ट्स पर काम कर रहा है, जहां सोने और हीरे जैसे क्रिटिकल मिनरल्स के खनन की संभावनाओं को तलाशा जा रहा है। इनमें जबलपुर के सिहोरा तहसील के बेला और बिनेका गांव से लगी ज़मीन भी शामिल है लेकिन यहां सोना खनन करने लायक मिलेगा या नहीं, ये सर्वे के बाद ही तय होगा।
आशित साहा ने कहा कि सर्वे का काम शुरु तो कर दिया गया है, लेकिन ये लंबी प्रक्रिया है जिसके पूरे होने पर ही कहा जा सकेगा कि यहां सोने का डिपॉज़िट या खदान मिलेगी या नहीं। जीएसआई डायरेक्टर आशित साहा ने कहा कि कुछ मात्रा में गोल्ड मिनरल हर जगह मिल जाता है लेकिन ये खदान चलाकर निकालने लायक है ये जांच के बिना नहीं कहा जा सकता। बता दें कि जबलपुर की सिहोरा तहसील में कई हैक्टेयर में लाखों टन सोने का भण्डार मिलने की ख़बरें सोशल मीडिया में वायरल की जा रही हैं लेकिन अब जीएसआई के डायरेक्टर ने ही फैक्ट चैकर के रुप में ऐसी ख़बरों का खण्डन कर दिया है।

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