MP News: भोपाल में ग्लोबल इंवेस्टर्स समिट की तैयारी तेज, आईटी और ईएसडीएम सेक्टर की कंपनियां होंगी शामिल, तकनीकी निवेश के क्षेत्र में मिलेगा फायदा

MP News: भोपाल में ग्लोबल इंवेस्टर्स समिट की तैयारी तेज, आईटी और ईएसडीएम सेक्टर की कंपनियां होंगी शामिल, तकनीकी निवेश के क्षेत्र में मिलेगा फायदा

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  • Publish Date - February 6, 2025 / 12:01 PM IST,
    Updated On - February 6, 2025 / 12:01 PM IST

MP News in Hindi | Source : Mohan Yadav X

भोपाल: MP News मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल में आगामी 24-25 फरवरी को ग्लोबल इंवेस्टर्स समिट (जीआईएस)-2025 आयोजित होने जा रही है। समिट में देश-विदेश की प्रमुख आईटी, आईटीईएस और ईएसडीएम (इलेक्ट्रॉनिक्स सिस्टम डिज़ाइन और मैन्युफैक्चरिंग) सेक्टर की बड़ी कंपनियां हिस्सा लेंगी। इस समिट के दौरान राज्य के तकनीकी निवेश क्षेत्र में नए अवसर उत्पन्न होने की उम्मीद जताई जा रही है। इस पर मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि मध्यप्रदेश अब आईटी (सूचना प्रौद्योगिकी), आईटीईएस (आईटी-आधारित सेवा) और ईएसडीएम (इलेक्ट्रॉनिक्स सिस्टम डिज़ाइन और मैन्युफैक्चरिंग) सेक्टर का प्रमुख निवेश केंद्र बन रहा है। आगामी 24-25 फरवरी को भोपाल में आयोजित होने वाली जीआईएस-2025 (ग्लोबल इंवेस्टर्स समिट) में इन क्षेत्रों की बड़ी कंपनियां हिस्सा लेंगी, जिससे राज्य को तकनीकी निवेश के क्षेत्र में नई ऊँचाई प्राप्त होगी।

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MP News मुख्यमंत्री ने बताया कि आज के समय में सूचना प्रौद्योगिकी केवल एक उद्योग नहीं, बल्कि यह हर उद्योग के लिए एक आवश्यक आधार बन चुकी है। स्वास्थ्य, कृषि, शिक्षा, उद्योग सहित सभी क्षेत्रों में आईटी की भूमिका अत्यधिक महत्वपूर्ण हो गई है।

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राज्य सरकार की आईटी और ईएसडीएम नीति, डेटा सेंटर पार्क, आईटी पार्क्स, और इनक्यूबेटर्स के विकास से मध्यप्रदेश तकनीकी निवेश के लिए एक आकर्षक स्थान बन चुका है। इसके अलावा, इंदौर, भोपाल, जबलपुर, और ग्वालियर जैसे शहर आईटी कंपनियों के नए केंद्र बनते जा रहे हैं। इस क्षेत्र में टीसीएस, इनफोसिस, यश टेक्नॉलोजीज, इंपीट्स जैसी बड़ी कंपनियां पहले ही अपनी उपस्थिति दर्ज कर चुकी हैं।

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डॉ. मोहन यादव ने कहा कि राज्य अब डिजिटल इंडिया मिशन के तहत आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, मशीन लर्निंग, बिग डेटा, ब्लॉक-चेन, और साइबर सिक्योरिटी जैसी अत्याधुनिक तकनीकों को अपना रहा है। राज्य इस दिशा में अग्रणी भूमिका निभा रहा है, जिससे डिजिटल विकास को गति मिलेगी।

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आईटी पार्क और नए परियोजनाओं से डिजिटल विकास को नई दिशा

राज्य में पहले से 15 आईटी पार्क और 5 आईटी स्पेशल इकोनॉमिक जोन कार्यरत हैं। इसके अतिरिक्त, इंदौर में क्रिस्टल आईटी पार्क-3 और 4, 50 एकड़ में डेटा सेंटर पार्क, जबलपुर में 1 लाख वर्गफुट का आईटी टॉवर और कई अन्य परियोजनाएं मध्यप्रदेश के डिजिटल विकास को नई गति देंगी।

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भौगोलिक स्थिति और परिवहन नेटवर्क के फायदे

मध्यप्रदेश की भौगोलिक स्थिति इसे पूरे देश के बाजारों से सीधे और सुगम संपर्क प्रदान करती है। राज्य में 6 प्रमुख हवाई अड्डे और 6 इनलैंड कंटेनर डिपो हैं, जिससे वैश्विक व्यापार को गति मिलती है। राज्य प्रमुख राष्ट्रीय राजमार्गों और समर्पित फ्रेट कॉरिडोर से जुड़ा हुआ है, जो इसे लॉजिस्टिक्स और परिवहन के लिए भी अनुकूल बनाता है।

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जीआईएस-2025 का महत्व

मुख्यमंत्री ने कहा कि जीआईएस-2025 में शामिल होने वाली कंपनियां राज्य में आईटी, आईटीईएस और ईएसडीएम क्षेत्र के विकास में महत्वपूर्ण योगदान देंगी, और इससे राज्य की आर्थिक स्थिति में भी मजबूती आएगी।

जीआईएस-2025 में कौन सी कंपनियां शामिल होंगी?

जीआईएस-2025 में आईटी, आईटीईएस और ईएसडीएम सेक्टर की बड़ी कंपनियां शामिल होंगी, जिनमें टीसीएस, इनफोसिस, यश टेक्नॉलोजीज जैसी कंपनियां शामिल हैं।

मध्यप्रदेश का आईटी और ईएसडीएम क्षेत्र में क्या योगदान है?

मध्यप्रदेश ने अपनी आईटी और ईएसडीएम नीति, डेटा सेंटर पार्क, और आईटी पार्क्स के माध्यम से आईटी और इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्युफैक्चरिंग में निवेश को आकर्षित किया है, जिससे राज्य इस क्षेत्र में प्रमुख बन रहा है।

मध्यप्रदेश में कितने आईटी पार्क कार्यरत हैं?

राज्य में पहले से 15 आईटी पार्क और 5 आईटी स्पेशल इकोनॉमिक जोन कार्यरत हैं।

मध्यप्रदेश की भौगोलिक स्थिति का क्या लाभ है?

मध्यप्रदेश की भौगोलिक स्थिति इसे पूरे देश के बाजारों तक सीधा और सुगम संपर्क प्रदान करती है, जिससे वैश्विक व्यापार को गति मिलती है।