Shani Janm Katha : पिता और पुत्र की आपस में क्यों नहीं बनती? क्यों शनि देव के जन्म के बाद सूर्य देव ने मचाया बवाल?

Why do father and son not get along? Why did Sun God create a ruckus after Shani Dev's birth?

Shani Janm Katha : पिता और पुत्र की आपस में क्यों नहीं बनती? क्यों शनि देव के जन्म के बाद सूर्य देव ने मचाया बवाल?

Shani janm katha

Modified Date: May 27, 2025 / 11:05 am IST
Published Date: May 27, 2025 11:02 am IST

Shani Janm Katha : शनि देव की जन्म कथा के अनुसार, उनके पिता सूर्य देव हैं और माता छाया (संज्ञा की परछाई) हैं। शनिदेव को कर्मफल दाता भी कहा जाता है, अर्थात वे व्यक्ति को उसके कर्मों के अनुसार फल देते हैं। आज शनि जयंती मनाई जा रही है, जो ज्येष्ठ अमावस्या को शनि देव के जन्म का प्रतीक है। सूर्य देव के तेज से बचने के लिए उनकी पत्नी संज्ञा ने अपनी परछाई (छाया) को उनके पास छोड़ दिया, जिससे शनि देव का जन्म हुआ।

Shani Janm Katha

शनिदेव को सूर्यदेव का सबसे बड़ा पुत्र एवं कर्मफल दाता माना जाता है। लेकिन साथ ही पितृ शत्रु भी, शनि ग्रह के सम्बन्ध मे अनेक भ्रान्तियाँ और इस लिये उसे मारक, अशुभ और दुख कारक माना जाता है। पाश्चात्य ज्योतिषी भी उसे दुख देने वाला मानते हैं। लेकिन शनि उतना अशुभ और मारक नही है, जितना उसे माना जाता है। इसलिये वह शत्रु नही मित्र है।मोक्ष को देने वाला एक मात्र शनि ग्रह ही है। सत्य तो यह ही है कि शनि प्रकृति में संतुलन पैदा करता है, और हर प्राणी के साथ उचित न्याय करता है।

 ⁠

Shani Janm Katha : आईये यहाँ प्रस्तुत हैं शनि देव की जन्म कथा

शनि देव कथा

पौराणिक कथा के अनुसार, विश्वकर्मा की पुत्री संज्ञा का विवाह सूर्य देव से हुआ था और सूर्य से विवाह के बाद संज्ञा उनके प्रचंड तेज को सह नहीं पा रही थी। ऐसे में सूर्य देव के ताप से बचने के लिए संज्ञा ने चुपचाप अपनी प्रतिकृति छाया को सूर्य देव के पास छोड़ दिया था और वह अश्व रूप लेकर पृथ्वी पर चली गई थीं। यहां वह तपस्या करने लगी थीं। वहीं छाया सूर्य देव की सेवा करती थीं और सूर्य देव को इसका पता नहीं था।

Shani Janm Katha

पुराणों के अनुसार, भगवान सूर्य का विवाह देवताओं के शिल्पी विश्वकर्मा की पुत्री संज्ञा से हुआ था। विवाह के बाद संज्ञा ने यम और यमुना को जन्म दिया। यम ने तपस्या करके धर्मराज का पद प्राप्त किया और यमुना धरती पर नदी के रूप में बहने लगी।
– सूर्यदेव का तेज बहुत प्रबल था, जिसे सह पाना संज्ञा के लिए कठिन होता जा रहा था। तब एक दिन संज्ञा ने अपनी परछाई, जिसका नाम छाया था को सूर्यदेव को सेवा में छोड़ दिया और स्वयं तपस्या करने चली गई। ये बात सूर्यदेव को पता नहीं चली।

Shani Janm Katha

धर्मग्रंथो के अनुसार सूर्य की पत्नी संज्ञा की छाया के गर्भ से शनि देव का जन्म हुआ, जब शनि देव छाया के गर्भ में थे तब छाया भगवान शंकर की भक्ति में इतनी ध्यान मग्न थी की उसने अपने खाने पिने तक सुध नहीं थी जिसका प्रभाव उसके पुत्र पर पड़ा और उसका वर्ण श्याम हो गया। शनि के श्यामवर्ण को देखकर सूर्य ने अपनी पत्नी छाया पर आरोप लगाया की शनि मेरा पुत्र नहीं हैं। तभी से शनि अपने पिता से शत्रु भाव रखते थे।

Shani Janm Katha

शनि देव ने अपनी साधना तपस्या द्वारा शिवजी को प्रसन्न कर अपने पिता सूर्य की भाँति शक्ति प्राप्त की और शिवजी ने शनि देव को वरदान मांगने को कहा, तब शनि देव ने प्रार्थना की कि युगों युगों में मेरी माता छाया की पराजय होती रही हैं, मेरे पिता सूर्य द्वारा अनेक बार अपमानित किया गया हैं। अतः माता की इच्छा हैं कि मेरा पुत्र अपने पिता से मेरे अपमान का बदला ले और उनसे भी ज्यादा शक्तिशाली बने। तब भगवान शंकर ने वरदान देते हुए कहा कि नवग्रहों में तुम्हारा सर्वश्रेष्ठ स्थान होगा। मानव तो क्या देवता भी तुम्हारे नाम से भयभीत रहेंगे।

———

Read more : यहाँ पढ़ें और सुनें

Shaniwar Ke Niyam : शनिवार के दिन इन कार्यों को करने से शनिदेव कर देंगे बर्बाद, आर्थिक तंगी के साथ हर तरफ मिलेगी नाकामयाबी..

June 2025 Festivals : जून माह 2025 में निर्जला एकादशी से लेकर गुरु हरगोविंद सिंह जयंती जैसे महत्वपूर्ण व्रत त्योहारों की सम्पूर्ण सूचि

Chaturmas kab hai : 2025 में कब से कब तक रहेगा चतुर्मास? जाने तिथि, महत्त्व एवं इस बीच क्यों लग जाती है शुभ कार्यों पर रोक?

Rudrashtakam : रोज़ाना प्रातः श्री रुद्राष्टकम का पाठ सुनने मात्र से ही विफल हो जाएँगी सभी बुरी शक्तियां, भगवान शिव की बनी रहेगी विशेष कृपा

IBC24 की अन्य बड़ी खबरों के लिए हमारे फेसबुक फेज को भी फॉलो करें
IBC24 की अन्य बड़ी खबरों के लिए यहां क्लिक करें
Follow the IBC24 News channel on WhatsApp


लेखक के बारे में

Swati Shah, Since 2023, I have been working as an Executive Assistant at IBC24, No.1 News Channel in Madhya Pradesh & Chhattisgarh. I completed my B.Com in 2008 from Pandit Ravishankar Shukla University, Raipur (C.G). While working as an Executive Assistant, I enjoy posting videos in the digital department.