राणा ने अपना प्रदर्शन दिवंगत पिता को समर्पित किया

राणा ने अपना प्रदर्शन दिवंगत पिता को समर्पित किया

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  • Publish Date - June 17, 2021 / 05:55 AM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 08:40 PM IST

ब्रिस्टल, 17 जून ( भाषा ) भारतीय महिला क्रिकेट टीम की स्पिनर स्नेह राणा ने अपने पहले टेस्ट में शानदार प्रदर्शन अपने दिवंगत पिता को समर्पित किया है । इंग्लैंड के खिलाफ टेस्ट के लिये राणा का भारतीय टीम में चयन होने से कुछ दिन पहले ही उनके पिता का निधन हो गया था ।

राणा ने पहले दिन 77 रन देकर तीन विकेट लिये और भारत को मैच में लौटाने में अहम भूमिका निभाई ।

पहले दिन के खेल के बाद उन्होंने प्रेस कांफ्रेंस में कहा ,‘‘ कुछ महीने पहले मेरे पिता का निधन हो गया था । टीम की घोषणा होने से कुछ दिन पहले मैने उन्हें खो दिया । यह काफी कठिन था और भावुक भी क्योंकि वह मुझे भारत के लिये खेलते देखना चाहते थे ।’’

उन्होंने कहा ,‘लेकिन वह नहीं देख सके । यह जिंदगी का हिस्सा है लेकिन मैने जो कुछ किया और आगे भी जो कुछ करूंगी, वह उन्हें ही समर्पित होगा ।’’

इंग्लैंड ने आखिरी सत्र में सात ओवर में 21 रन के भीतर चार विकेट गंवा दिये ।

राणा ने कहा ,‘‘ शुरूआत में पिच कुछ धीमी थी लेकिन स्पिनरों को मदद मिली । यह बल्लेबाजी के लिये अच्छी विकेट थी और मुझे लगता है कि कल भी ऐसी ही रहेगी ।’’

उन्होंने कहा कि अपने चयन के बारे में उन्हें टीम की बैठक में पता चला । उन्होंने कहा ,‘‘ अभ्यास सत्र में हम कप्तान और कोच से बात करते हैं कि कैसे करना है, कहां गेंद डालनी है वगैरह ।’’

उन्होंने कहा ,‘‘मैं पहली बार टेस्ट खेल रही हूं जिसमें माहौल वनडे या टी20 से अलग होता है । हम इसके बारे में रोज बात करते थे ।’’

कोच रमेश पवार ने राणा को अपनी ताकत पर फोकस करने के लिये कहा । राणा ने कहा ,‘‘बाहर से देखने वालों को बेहतर पता होता है ।उन्हाोंने मुझ पर दबाव नहीं बनाया लेकिन कहा कि अपनी ताकत पर फोकस करूं और बेसिक्स नहीं छोड़ूं ।’’

उन्होंने कहा ,‘‘‘ इसलिये मैने कुछ अतिरिक्त नहीं किया । मैं अपनी ताकत पर ही फोकस करते हुए गेंद डालती रही ।’’

पांच साल बाद टीम में वापसी करने वाली राणा को घरेलू क्रिकेट में अच्छे प्रदर्शन का फायदा मिला । उन्होंने कहा ,‘‘कई लोगों को लगता है कि अंतरराष्ट्रीय क्रिकेटमें वापसी संभव नहीं है , खासकर महिला क्रिकेट में । मुझे उम्मीद है कि मेरी वापसी से कुछ लोगों को प्रेरणा मिलेगी और वे हार नहीं मानेगे ।’’

भाषा मोना

मोना