विदर्भ के मुख्य कोच गनी ने रणजी ट्रॉफी खिताब का श्रेय युवाओं को दिया, वाखरे ने की संन्यास की घोषणा

विदर्भ के मुख्य कोच गनी ने रणजी ट्रॉफी खिताब का श्रेय युवाओं को दिया, वाखरे ने की संन्यास की घोषणा

विदर्भ के मुख्य कोच गनी ने रणजी ट्रॉफी खिताब का श्रेय युवाओं को दिया, वाखरे ने की संन्यास की घोषणा
Modified Date: March 2, 2025 / 08:14 pm IST
Published Date: March 2, 2025 8:14 pm IST

 नागपुर, दो मार्च (भाषा) विदर्भ के मुख्य कोच उस्मान गनी ने रविवार को टीम में युवा खिलाड़ियों के हरफनमौला प्रदर्शन की सराहना की तो वही अनुभवी खिलाड़ी अक्षय वाखरे ने टीम के तीसरी बार चैंपियन बनने के बाद प्रथम श्रेणी क्रिकेट से संन्यास की घोषणा की।

विदर्भ और केरल का रणजी ट्रॉफी फाइनल का मुकाबला ड्रॉ पर छूटा लेकिन पहली पारी में 37 रनों की बढ़त के आधार पर विदर्भ चैंपियन बना।

गनी पिछले साल विदर्भ के मुख्य कोच नियुक्त हुए थे। उन्होंने कहा, ‘‘इस सत्र अधिक युवा खिलाड़ियों को टीम में शामिल करने और उन पर भरोसा करने का फायदा हुआ।

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गनी ने टीम की जीत के बाद मीडिया से कहा, ‘‘अगर आप इस बार विदर्भ की टीम को देखें तो इसमें युवा और अनुभव अच्छा मिश्रण है।’’

उन्होंने कहा, ‘‘हमारी नीति टीम में युवाओं को शामिल करने की थी। ट्रॉफी जीतना हमारा मकसद था लेकिन इसके साथ ही हम चाहते हैं कि हमारे युवा देश के लिए खेलें।’’

गनी ने पूरे सत्र में शानदार प्रदर्शन के लिए युवा हर्ष दुबे (69 विकेट), यश राठौड़ (960 रन) और दानिश मालेवार (783 रन) की प्रशंसा की। वाखरे ने 105 मैच खेलने के बाद प्रथम श्रेणी क्रिकेट से संन्यास की घोषणा की। इस दाएं हाथ के स्पिनर प्रथम श्रेणी करियर में 344 विकेट लिए।

उन्होंने मीडिया से कहा, ‘‘मैं चैंपियन टीम का हिस्सा बनकर और चैंपियन के रूप में संन्यास लेकर बहुत खुश हूं। यह पहले से ही तय था।’’

विदर्भ के लिए तमिलनाडु के खिलाफ क्वार्टर फाइनल में अपना आखिरी मैच खेलने वाले वाखरे ने कहा, ‘‘मैं 100 मैचों के बाद संन्यास लेने के बारे में सोच रहा था। लेकिन यह टीम की जरूरत थी और खेलना महत्वपूर्ण था।’’

 गनी ने वाखरे के बारे में कहा, ‘‘वह विदर्भ के लिए महान खिलाड़ी है। हम अपनी राज्य टीम के लिए उनकी सेवा के लिए उन्हें सलाम करते हैं। हमें उन पर बहुत गर्व है । हम निकट भविष्य में उनकी नई पारी के लिए शुभकामनाएं देते हैं।’’

  इस बीच गनी ने कहा कि विदर्भ करुण नायर को टीम में शामिल कर बल्लेबाजी में अनुभव देना चाहता था।

उन्होंने कहा, ‘‘करुण का अनुभव हमारे लिए बहुत महत्वपूर्ण है क्योंकि हमारी टीम में युवा बल्लेबाज हैं। हमारी योजना यह थी कि वह अपने अंतरराष्ट्रीय और घरेलू अनुभव के साथ हमारे युवाओं का मार्गदर्शन करें। वह जानते हैं कि टूर्नामेंट कैसे जीतना है और दबाव वाले मैचों में कैसे खेलना है।’’

भाषा आनन्द आनन्द नमिता

नमिता


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