ईरान ने नातान्ज परमाणु स्थल पर हमले के लिए इज़राइल को जिम्मेदार ठहराया

ईरान ने नातान्ज परमाणु स्थल पर हमले के लिए इज़राइल को जिम्मेदार ठहराया

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  • Publish Date - April 12, 2021 / 02:16 PM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 08:05 PM IST

दुबई, 12 अप्रैल (एपी) ईरान ने भूमिगत नातान्ज परमाणु केंद्र पर हमला करने के लिए सोमवार को इज़राइल को जिम्मेदार ठहराया जिसमें परमाणु केंद्र का सेंट्रीफ्यूज़ क्षतिग्रस्त हो गया था जिसका इस्तेमाल वहां पर यूरेनियम संवर्धन के लिए किया जाता है। इस हमले से परमाणु समझौते को लेकर चल रही बातचीत संकट में पड़ सकती है और दोनों देशों के बीच छद्म युद्ध को सामने ले आयी है।

इज़राइल ने हमले की जिम्मेदारी नहीं ली है। वह शायद ही कभी अपनी गुप्त सैन्य इकाइयों या खुफिया एजेंसी मोसाद द्वारा चलाए गए अभियानों की जिम्मेदारी लेता है। बहरहाल, शक फौरन उस पर गया, क्योंकि उसके मीडिया ने देश द्वारा विनाशकारी साइबर हमले की खबर दी जिससे बिजली गुल हो गई।

इस बीच ईरान के पूर्व अधिकारी ने कहा कि हमले के बाद केंद्र में आग लग गई।

इस हमले से ईरान के अमेरिका के साथ रिश्तों में और तनाव आ सकता है। अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन परमाणु समझौते में फिर से शामिल होने के लिए वियना में फिलहाल वार्ता कर रहे हैं। वहीं इज़राइल के प्रधानमंत्री बेन्जामिन नेतन्याहू ने हर कीमत पर यह समझौता होने से रोकने का संकल्प लिया है। उन्होंने अमेरिकी रक्षा मंत्री लॉयड ऑस्टिन से सोमवार को मुलाकात की। ऑस्टिन संयाोग से उस दिन इज़राइल पहुंचे जब हमला हुआ।

अमेरिकी रक्षा मंत्री ऑस्टिन ने सोमवार को इज़राइल के नेवतीम वायुसेना अड्डे पर संवाददाता सम्मेलन में इस बात पर टिप्पणी करने से इनकार कर दिया कि नातान्ज की घटना क्या ईरान को उसके परमाणु कार्यक्रम पर फिर से बातचीत की मेज पर लाने के बाइडन प्रशासन के प्रयासों को बाधित करेगी।

उन्होंने कहा, “प्रयास जारी रहेंगे।”

नेवतीम में ऑस्टिन ने इज़राइली वायु एवं मिसाइल रक्षा प्रणाली और उसके एफ-35 लड़ाकू विमान का जायज़ा लिया।

पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के शासन के तहत अमेरिका इस समझौते से अलग हो गया था जो ईरान तथा विश्व शक्तियों के बीच हुआ था।

परमाणु केंद्र पर यह हमला रविवार को हुआ था। शुरू में तो यही बताया गया कि केंद्र में बिजली गुल हो गई है लेकिन बाद में ईरानी अधिकारियों ने इसे हमला कहना शुरू कर दिया।

ईरान के अर्द्धसैनिक रेवोल्यूशनरी गार्ड के पूर्व प्रमुख ने कहा कि नातान्ज में हमले की वजह से आग भी लग गई थी और उन्होंने केंद्र पर सुरक्षा में सुधार करने की अपील की।

मेजर जनरल मोहसिन रेज़ाई ने ट्विटर पर कहा कि नातान्ज में एक साल में दूसरी बार आग लगना घुसपैठ की घटना की गंभीरता का संकेत देता है।

वहीं, ईरान के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता सईद खतीबज़ादा ने कहा, “नातान्ज का जवाब इज़राइल से बदला लेना है। इज़राइल को उसके तरीके से ही उसका जवाब मिलेगा।”

हालांकि, उन्होंने इस बारे में विस्तार से नहीं बताया।

खतीबज़ादा ने माना कि आईआर-1 सेंट्रीफ्यूज़ हमले में क्षतिग्रस्त हुआ है। हालांकि उन्होंने इस बारे में अधिक जानकारी नहीं दी।

ईरान के विदेश मंत्री जवाद ज़रीफ ने कहा कि नातान्ज को और उन्नत मशीनरी के साथ बनाया जाएगा और यह परमाणु समझौते को बचाने के लिए वियना में चल रही बातचीत को संकट में डालने वाला है।

ईरान की सरकारी समाचार एजेंसी ईरना ने ज़रीफ के हवाले से कहा, “ यहूदी लोग प्रतिबंध हटाने को लेकर उनकी सफलता पर ईरानी लोगों से बदला लेना चाहते थे।”

उन्होंने कहा, “ लेकिन हम ऐसा होने नहीं देंगे और यहूदियों से इस कृत्य का बदला लेंगे।”

ईरान के असैन्य परमाणु कार्यक्रम के प्रमुख अली अकबर सलेही ने कहा कि अधिकारियों ने नातान्ज को सोमवार को आपात बिजली पहुंचाने की कोशिशें शुरू कर दी हैं।

उन्होंने कहा कि हमले से संवर्धन का काम नहीं रूका। हालांकि उन्होंने इस बाबत विस्तार से नहीं बताया।

तेहरान के परमाणु कार्यक्रम की निगरानी करने वाली संयुक्त राष्ट्र ईकाई आईएईए ने पहले कहा था कि उसे नातान्ज की घटना के बारे में मीडिया में आयी खबरों की जानकारी है और उसने ईरानी अधिकारियों से इस बारे में बात की है। एजेंसी ने इस बारे में विस्तार से कुछ नहीं बताया।

बहरहाल, नातान्ज को पहले भी निशाना बनाया गया है। स्टक्सनेट कंप्यूटर वायरस से एक बार नातान्ज में ईरानी सेंट्रीफ्यूज को नष्ट कर दिया गया था। स्टक्सनेट का पता 2010 में चला था और इसके बारे में माना जाता है कि यह अमेरिका-इजराइल द्वारा निर्मित था।

नातान्ज के उन्नत अपकेंद्रण संयंत्र में पिछले साल जुलाई में एक रहस्यमय विस्फोट हुआ था। ईरानी परमाणु संयंत्र पर हमला करने को लेकर ईरान का क्षेत्रीय शत्रु इजराइल संदेह के घेरे में रहा है। ईरान ने देश के सैन्य परमाणु कार्यक्रम की कई दशक पहले शुरुआत करने वाले वैज्ञानिक की हत्या के लिए इजराइल को ही दोषी ठहराया था।

इजराइल के कई मीडिया संस्थानों ने रविवार को बताया कि एक साइबर हमला नातान्ज में विद्युत आपूर्ति बाधित होने का कारण बना। सरकारी प्रसारणकर्ता कान ने कहा कि हमले के पीछे इजराइल की खुफिया एजेंसी मोसाद है। चैनल 12 टीवी ने ‘विशेषज्ञों’ का हवाला देते हुए कहा कि विद्युत आपूर्ति बाधित होने से इस इकाई के सभी क्षेत्र प्रभावित हुए।

किसी भी खबर में कोई स्रोत या इस बात का स्पष्टीकरण शामिल नहीं था कि मीडिया घराने इस आकलन तक कैसे पहुंचे।

एपी

नोमान नरेश

नरेश