महंत नरेंद्र गिरी की मौत का सच? मौत से ठीक पहले बनाया वीडियो, सुसाइड नोट में शिष्य आनंद गिरी का नाम

महंत नरेंद्र गिरी की मौत का सच? मौत से ठीक पहले बनाया वीडियो, सुसाइड नोट में शिष्य आनंद गिरी का नाम

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  • Publish Date - September 21, 2021 / 10:57 AM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 07:47 PM IST

प्रयागराज। अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरि (Mahant Narendra Giri) की सोमवार को संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हुई थी और उनका शव उत्तर प्रदेश के प्रयागराज स्थित बाघंबरी मठ के कमरे से फांसी के फंदे से लटकता मिला था, वो अंदर से बंद था, पुलिस ने दरवाजा तोड़कर शव को बाहर निकाला, शव के पास मिले सुसाइड नोट में शिष्य आनंद गिरि (Anand Giri) समेत कई लोगों के नाम थे।

जिस महंत से मुख्यमंत्री, उपमुख्यमंत्री और बड़े-बड़े नेता आशीर्वाद लेने आते थे, मौत से एक दिन पहले ही यूपी के डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य भी उनसे मिले थे, उस दौरान भी उनके चेहरे पर किसी तरह का तनाव नहीं था, तो सवाल यह है कि आखिर ऐसा क्या हुआ था, जिसकी वजह से महंत को खुदकुशी जैसा कदम उठाना पड़ा?

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पुलिस को जांच के दौरान कमरे से 8 पन्नों का एक सुसाइड नोट मिला है, पुलिस के मुताबिक सुसाइड नोट में उनके शिष्य आनंद गिरि (Anand Giri) का जिक्र है, सुसाइड नोट में आद्या तिवारी और संदीप तिवारी का भी जिक्र है, आद्या तिवारी लेटे हनुमान जी मंदिर के वरिष्ठ पुजारी हैं और संदीप तिवारी उनके बेटे हैं, सुसाइड नोट में आनंद गिरि का नाम सामने आने के बाद हरिद्वार से उन्हें उत्तर प्रदेश पुलिस ने हिरासत में ले लिया।

सुसाइड नोट में क्या?

पुलिस द्वारा बरामद किए गए सुसाइड नोट में नरेंद्र गिरि ने अपने शिष्य से नाराजगी की बात कही है,पुलिस के मुताबिक नरेंद्र गिरी ने सुसाइड नोट में आत्महत्या की बात लिखी है और वसीयतनामा भी लिखा है। मामले में अखाड़े की संपत्ति पर अधिकार का विवाद सामने आ रहा है, बता दें कि महंत नरेंद्र गिरि ने आनंद गिरि को अखाड़े से बाहर कर दिया था।

महंत नरेंद्र गिरि (Mahant Narendra Giri) ने मौत से पहले अपने मोबाइल से एक वीडियो भी बनाया था, जो पुलिस के हाथ लगा है, पुलिस के मुताबिक नरेंद्र गिरि ने मौत से ठीक पहले 4 मिनट का वीडियो बनाया था, पुलिस ने नरेंद्र गिरि के मोबाइल को जब्त कर लिया है और फॉरेंसिक जांच के लिए भेज दिया है।

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हिरासत में लिए जाने से पहले आनंद गिरि मीडिया के सामने आए और खुद को बेकसूर बताया, आनंद गिरि ने आरोप लगाया कि मठ की जमीन हड़पने और वर्चस्व को लेकर नरेंद्र गिरि की हत्या की गई है और उन्हें झूठे केस में फंसाया गया है, नरेंद्र गिरि के दावे में कितना दम है ये तो जांच के बाद ही पता चलेगा। सुसाइड नोट में जिस आद्या तिवारी और संदीप तिवारी का जिक्र था, उन्हें भी प्रयागराज से हिरासत में लिया गया है।