Unbridled nightclub...challenge the system! Why administration not strict

बेलगाम नाइट क्लब…व्यवस्था को चुनौती! प्रशासन इसे लेकर सख्त क्यों नहीं?

बेलगाम नाइट क्लब...व्यवस्था को चुनौती!! Unbridled nightclub...challenge the system! Why administration not strict

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:45 PM IST, Published Date : October 5, 2021/11:02 pm IST

रायपुर: प्रदेश के बड़े शहरों में खुले नाइट क्लब और पब हुड़दंगियों के अड्डे बनते जा रहे हैं। रसूखदारों की सरपरस्ती में चल रहे पब नशे की नर्सरी बन चुके हैं, जहां कानून को ताक पर रखकर न केवल अवैध कारोबार संचालित हो रहे हैं। बल्कि शाम ढलते ही यहां जमा होने वाली बिगड़ैल रईसजादों की भीड़ लॉ एंड ऑर्डर के लिये भी चुनौती साबित हो रहे हैं। लेकिन इन पर लगाम लगाने वाला कोई नहीं है। जाहिर है ऐसे में सवाल उठता है कि प्रशासन इसे लेकर सख्त क्यों नहीं है? क्या बेलगाम नाइट क्लब व्यवस्था को खुलेआम चुनौती दे रहे हैं?

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रायपुर, बिलासपुर, दुर्ग और रायगढ़ समेत प्रदेश के बड़े शहरों में खुले नाइट क्लब, पब, हुक्का बार एक बार फिर नशे की नर्सरी साबित हो रहे हैं। कुकरमुत्ते की तरह उग आए इन नाइट क्लबों के बारे में ये कहना कतई गलत ना होगा कि यूथ को नशे का चस्का लगाने की शुरूआत यहां से हो रही है। जिससे प्रदेश में नशा कारोबार और उससे जुड़े अपराधों में भी तेजी से इजाफा हुआ है। पब और नाइट क्लब में नशे के बाद किस तरह हंगामा होता है, उसकी ताजा तस्वीर बिलासपुर के भूगोल बार में देखने को मिली, जिन पुलिस अधिकारियों पर अपराध रोकने की जिम्मेदारी है उन्हीं ने यहां बार में एंट्री को लेकर मित्रों के साथ मिलकर हंगामा किया। बाउंसर और महिला अधिकारियों के बीच हाथपाई तक की नौबत आ गई। हालांकि अनुशासनहीनता बताकर मामले में शामिल दो महिला अधिकारियों का ट्रांसफर कर दिया गया।

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नशेड़ियों पर पुलिस का खौफ कितना है, इसका अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि बीते रविवार नशा का अड्डा रह चुके होटल क्वींस क्लब के पास चल रही होटल के पब में देर रात एक राजनीतिक व्यक्ति के रिश्तेदार ने नशे में लड़की से छेड़छाड़ की और उसके मित्र के सिर पर शराब की बोतल फोड़ दी। लेकिन न तो पब मालिक ने इसकी शिकायत पुलिस से की, न ही जानकारी होने के बाद पुलिस ने कोई कानूनी कार्रवाई की है। इतना ही नहीं चार साल पहले रामा मैग्नेटो बिलासपुर के युवा गौरांग बोबड़े की हत्या मामले में अभी तक आरोपियों को सजा नहीं मिल पाई है। गौरांग की हत्या मामले में आरोपी जमानत में बाहर घूम रहे हैं। कुल मिलाकर प्रदेश में जितनी तेजी से पब और नाइट क्लब खुल रहे हैं। क्राइम का ग्राफ भी उतनी तेजी से ऊपर चढ़ा है। बढ़ते अपराध को लेकर बीजेपी-कांग्रेस में जुबानी जंग भी शुरू हो गई है है।

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जाहिर है IBC24 ने पिछले साल मीडिया जगत के इतिहास में लगातार 55 दिनों तक नशे के खिलाफ मुहिम चलाई, नशे के सौदागरों के अड्डों और आकाओं पर एक-एक खबर दिखाई, जिसके बाद पुलिस हरकत में आई नशे के नैक्सस पर लगाम कसते हुए 120 से ज्यादा छोटे-बड़े ड्रग्स पैडलर्स को गिरफ्तार किया। पुलिस लंबे समय तक इनपर नकेल कसी हुई थी, लेकिन जैसे ही कार्रवाई में ढील बरती गई। प्रदेश में नशा का कारोबार एक बार फिर पैर पसारने लगा है।

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