मौलवियों और पुजारियों के आए अच्छे दिन, सरकार ने किया तीन गुना मानदेय देने का ऐलान

मौलवियों और पुजारियों के आए अच्छे दिन, सरकार ने किया तीन गुना मानदेय देने का ऐलान

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  • Publish Date - August 20, 2019 / 05:56 PM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 08:13 PM IST

भोपाल: मध्य प्रदेश की कांग्रेस सरकार ने शासन द्वारा नियंत्रित मंदिरों के पुजारियों का मानदेय तीन गुना बढ़ाकर 3 हजार रुपए कर देने की घोषणा की है। इसके साथ ही प्रदेश सरकार ऐसे मंदिरों की आर्थिक सहायता भी करेगी जो अपनी भूमि पर गोवंश की देखभाल करेंगे। शासन नियंत्रित ऐसे मंदिर जिनके पास कोई भूमि नहीं है, उनके ऐसे पुजारियों को पूर्व में एक हजार रुपए का मानदेय मिलता था। इसे बढ़ाकर अब एक 3 हजार रुपए प्रतिमाह कर दिया गया है। इसी प्रकार पांच एकड़ तक भूमि वाले मंदिर के पुजारियों का मानदेय 700 रुपए से बढ़ाकर 2,100 रुपए तथा 10 एकड़ भूमि वाले मंदिरों के पुजारियों का मानदेय 520 रुपए से बढ़ाकर 1560 रुपए प्रतिमाह किया गया है।

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प्रदेश के 25 हजार से अधिक पुजारी अब नई कमलनाथ सरकार से सीधा लाभान्वित होंगे। पुजारियों को मिलने वाले मानदेय को तीन गुना करने के साथ ही मध्य प्रदेश वक्फ बोर्ड की मस्जिदों के मुस्लिम मौलवियों को इसी प्रकार मानदेय दिया जाएगा। सरकार ऐसे मंदिरों को भी आर्थिक मदद करेगी जो अपनी भूमि पर गौशालाएं बनाकर गोवंश की देखभाल करेंगे। सरकार ने अपने वचनपत्र पर अमल करते हुए शासन द्वारा संधारित मंदिरों के पुजारियों के मानदेय में तीन गुना वृद्धि करने का निर्णय लिया है। मानदेय में वृद्धि का आदेश एक जनवरी 2019 से प्रदेश भर में लागू माना जाएगा। इस आदेश से लगभग 25 हजार पुजारियों को लाभ पहुंचने की संभावना है। ऐसे मंदिर जिनके पास कोई भूमि नहीं है, उनके पुजारियों को पूर्व में 1000 रुपए मानदेय मिलता था, उसे बढ़ाकर तीन हजार रुपए प्रतिमाह कर दिया गया है। इसी तरह 5 एकड़ तक भूमि वाले मंदिरों के पुजारियों को 700 रुपए से 2100 रुपए प्रतिमाह और 10 एकड़ तक भूमि वाले पुजारियों 520 रुपए से बढ़ाकर 1560 रुपए कर दिया गया है।

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मंदिरों और यहां के पुजारियों के अब तक के जीवन में नजर डालें तो स्थिति दयनीय थी। इन्हें मिलने वाला मानदेय ना तो पर्याप्त था और नही कभी वक्त पर मिला आलम यह था कि अधिकांस को महीनों तो किसी को वर्षों से नहीं मिला था। मंदिरों में पूजा अर्चना में आने वाला खर्च तक पंडितों को अपनी जेबों से भरना पड़ता था और रही बात पंडितों के जीवन यापन की तो भिक्षा और दान में आने वाले अनाज से किसी तरह इनका भरण पोषण जैसे तैसे होता था। इनकी सुध लेने वाली कमलनाथ सरकार पहली सरकार होगी जो इनकी ओर ध्यान देते हुए इनके मांदेह को 3गुना कर दी है। सरकार के इस फैसले से सरकारी मंदिरों के पुजारियों में काफी खुसी है। ये पंडित ना सिर्फ सरकार को साधुवाद दे रहे, बल्कि कमलनाथ सरकार के प्रति इनका भरोसा भी बढ़ा है।

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