कोलकाता, 19 नवंबर (भाषा) संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) के नेता हन्नन मोल्ला ने तीन कृषि कानूनों को वापस लिए जाने को ‘‘ऐतिहासिक’’ कदम बताते हुए शुक्रवार को कहा कि अभी किसानों का केवल आधा मकसद पूरा हुआ है और वे अब न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) की गारंटी देने वाले कानून के लिए दबाव बनाएंगे।
अखिल भारतीय किसान सभा (एआईकेएस) के महासचिव मोल्ला ने कहा कि संसद में कानून निरस्त किए जाने तक वह सतर्क रहेंगे, क्योंकि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) नीत सरकार ‘‘विश्वसनीय नहीं’’ है।
पढ़ें- ट्रॉयल रूम में कपड़े बदल रही थी महिला.. शीशे में ध्यान से देखा तो उड़ गए होश
मोल्ला ने ‘पीटीआई भाषा’ से कहा, ‘‘यह वास्तव में हम सबके लिए एक ऐतिहासिक जीत है। हालांकि मैं थोड़ा सतर्क हूं और इस सरकार पर तब तक भरोसा नहीं करना चाहता, जब तक इन तीनों कानूनों को संसद में निरस्त नहीं कर दिया जाता।’’
पढ़ें- क्रिकेट के इस दिग्गज खिलाड़ी ने किया संन्यास का ऐलान..फैंस और RCB को बड़ा झटका
उन्होंने कहा, ‘‘ऐसे उदाहरण है, जब इस सरकार ने कहा कि वह किसी अध्यादेश को वापस ले रही है, लेकिन कोई कदम नहीं उठाया गया। हम इस सरकार पर भरोसा नहीं करते क्योंकि इसका कुछ कहकर उसके बिल्कुल विपरीत कदम उठाने का पुराना रिकॉर्ड रहा है।’’
पढ़ें- Alto हो गई Wagonr के जैसी, मारुति ने बदला डिजाइन, जानिए क्या है नई कीमत
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राष्ट्र को संबोधित करते हुए शुक्रवार को घोषणा की कि सरकार ने उन तीनों कृषि कानूनों को वापस लेने का फैसला किया है, जिनके खिलाफ किसान पिछले करीब एक साल से प्रदर्शन कर रहे थे।
खबर गोदरेज बंटवारा दो
7 hours ago