Jharkhand News: सभी वाहन चालक ध्यान दें.. अपनी गाड़ी में भूलकर भी न लगाएं ये चीज, हो सकती है तगड़ी कार्रवाई, हाईकोर्ट ने दिए आदेश

सभी वाहन चालक ध्यान दें.. अपनी गाड़ी में भूलकर भी न लगाएं ये चीज, Jharkhand News: High Court orders ban on pressure horns, flag rods in vehicles

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  • Publish Date - July 31, 2025 / 03:30 PM IST,
    Updated On - July 31, 2025 / 04:13 PM IST
HIGHLIGHTS
  • प्रेशर हॉर्न और मल्टी-टोन हॉर्न पर पूर्ण प्रतिबंध
  • फ्लैग रॉड और अतिरिक्त लाइट वाले वाहन हटाने के निर्देश

रांची: Jharkhand News: झारखंड उच्च न्यायालय ने सरकार को यह सुनिश्चित करने का आदेश दिया है कि ‘प्रेशर हॉर्न’, ‘मल्टी-टोन हॉर्न’, ‘फ्लैग रॉड’ और अतिरिक्त लाइट लगे वाहन राज्य में नहीं चलें। उच्च न्यायालय की एक खंडपीठ ने अपने आदेश में ‘प्रेशर हॉर्न’ और ‘फ्लैग रॉड’ के इस्तेमाल पर पूर्ण प्रतिबंध लगाया है। अदालत ने कहा, ‘‘वाहनों में लगे ‘प्रेशर हॉर्न’ और ‘मल्टी-टोन हॉर्न’ को झारखंड राज्य में चलने की अनुमति नहीं दी जाएगी।’’

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Jharkhand News: पीठ ने कहा कि इसी प्रकार, अतिरिक्त लाइट लगे वाहनों, विशेष रूप से लाल और नीले रंग के और आपातकालीन वाहनों जैसे दिखने वाले वाहनों को तुरंत हटा दिया जाना चाहिए। अदालत ने प्रशासन को यह भी सुनिश्चित करने का आदेश दिया कि राजनीतिक दलों और धार्मिक संप्रदायों से संबद्धता की परवाह किए बिना ‘फ्लैग रॉड’ और ‘झंडों’ के अनधिकृत उपयोग को तुरंत हटा दिया जाए।

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उच्च न्यायालय ने आदेश दिया कि ध्वज संहिता के प्रावधानों का विधिवत पालन किया जाना चाहिए और केंद्रीय मोटर वाहन नियमों एवं ध्वनि प्रदूषण विनियमन एवं नियंत्रण नियमों का अक्षरशः पालन किया जाना चाहिए। उच्च न्यायालय ने रात 10 बजे से सुबह छह बजे तक बिना अनुमति के लाउडस्पीकर के इस्तेमाल पर भी प्रतिबंध लगा दिया है।

प्रेशर हॉर्न और मल्टी-टोन हॉर्न क्या हैं?

प्रेशर हॉर्न और मल्टी-टोन हॉर्न ऐसे हॉर्न होते हैं जो सामान्य हॉर्न से ज्यादा तेज और आवाज़ में बदलाव करने वाले होते हैं, जिनसे आवाज का प्रदूषण बढ़ता है।

फ्लैग रॉड पर प्रतिबंध क्यों लगाया गया है?

फ्लैग रॉड का अनधिकृत उपयोग राजनीतिक या धार्मिक पहचान के लिए किया जाता है, जिससे सार्वजनिक व्यवस्था प्रभावित होती है। इसलिए इसे प्रतिबंधित किया गया है।

अतिरिक्त लाल और नीली लाइट वाले वाहन क्यों हटाने को कहा गया है?

लाल और नीली लाइट का इस्तेमाल आपातकालीन सेवाओं के लिए आरक्षित होता है। गैर-आपातकालीन वाहन इन्हें लगाकर भ्रम और अव्यवस्था पैदा कर सकते हैं।

लाउडस्पीकर का उपयोग कब प्रतिबंधित है?

रात 10 बजे से सुबह 6 बजे तक बिना अनुमति के लाउडस्पीकर के इस्तेमाल पर रोक है ताकि शांति बनी रहे।

ध्वज संहिता का उल्लंघन करने पर क्या कार्रवाई होगी?

ध्वज संहिता का उल्लंघन करने वाले वाहनों या व्यक्तियों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जा सकती है।