Film Industry : मुंबई। बड़े पर्दे पर अपने अंतरंग दृश्यों से दर्शकों को चौंकाने वाली अभिनेत्री मल्लिका शेरावत का कहना है कि इस छवि की एक कीमत है क्योंकि निर्देशक, सह-कलाकार सहित सभी लोगों को लगता था कि वह आसानी से हर चीज़ों के लिए समझौता कर लेगी।
वर्ष 2004 में आयी फिल्म ‘मर्डर’ से बड़े पर्दे पर बोल्ड सीन का पर्याय बनी मल्लिका का कहना है कि इस छवि से लोगों को उनके चरित्र पर टिप्पणी करने का मौका मिल गया। मल्लिका ने कहा, मेरे पर कई आरोप हैं। अगर तुम बड़े पर्दे पर ऐसा कर सकती हो, तो निजी जिंदगी में ऐसा करने में क्या आपत्ति है? इसलिए मेरे हाथ से कई फिल्में चलीं गयीं। यह समाज की सोच को प्रतिबिंबित करता है, जिसका सामना महिलाएं हमारे देश में करती हैं।
Film Industry : इंटरव्यू में मल्लिका शेरावत ने कहा कि पिछले कुछ वर्षों में समाज विकसित हुआ है, जहां लोग बोल्ड फिल्मों के प्रति अधिक सहज हुए हैं, जब उन्होंने शुरुआत की थी। उन्होंने कहा, “वहाँ लोग बहुत जजमेंटल थे। लोग कहते थे, वह एक गिरी हुई औरत है, उसके पास कोई नैतिकता नहीं है, वह बिकनी पहनती है, देखों उसने कैसे सीन किए है, स्क्रीन पर किसिंग सीन देती है।
लेकिन यह सब अनुभव का एक हिस्सा है, और मैं वास्तव में खुश हूं कि समाज में बहुत विकास हुआ है। लोग अधिक सहिष्णु हो गए हैं। आज लोगों के लिए न्यूडिटी कोई बड़ी बात नहीं है”