Victims of Hip Fracture: नई दिल्ली। टूटे हुए कूल्हे का दर्द बयान करना मुश्किल होता है। घबराने वाली खबर यह है कि ऑस्टियोपोरोटिक हिप फ्रैक्चर इन दिनों वैश्विक समस्या बन गई है और इतना ही नहीं, आने वाले दो दशकों में इसके शिकार लगभग दोगुने लोग होंगे।
दरअसल हांग – कांग विश्वविद्यालय के एक्सपर्ट ने ऑस्टियोपोरोटिक हिप फ्रैक्चर पर नई स्टडी की है। उनके अनुसार ऑस्टियोपोरोसिस और फ्रैक्चर के सबसे अधिक शिकार 85 साल से उम्र के लोग बनते हैं। फ्रैक्चर जैसी समस्याओं से वे ही सबसे अधिक पीड़ित होते हैं, जिसपर रोक लगाने सबसे अधिक है जिसको और ज़्यादा अध्ययन और रोकथाम की आवश्यकता है।
देखें रिपोर्ट
Victims of Hip Fracture: अमेरिकन सोसायटी ऑफ़ बोन एंड मिनरल रिसर्च ने हाल में टेक्सस के ऑस्टिन में एक सेमिनार प्रस्तुत किया। इसे यूनिवर्सिटी ऑफ़ हांगकांग के असोसिएट प्रोफेसर चिंग लुंग चेउंग के नेतृत्व में पूरा किया गया। इस स्टडी में 19 देशों के 50 और उससे अधिक उम्र के मरीज़ों का सैंपल लिया गया।
ये सभी हिप फ्रैक्चर से पीड़ित थे। इस स्टडी में कुछ सनसनीखेज आंकड़े सामने निकल कर आए। गौरतलब है कि यूनाइटेड नेशन के एक अनुमान के मुताबिक 2050 तक पुरुषों का जीवन काल औसतन 75 साल की सीमा को पार कर जाएगा।
Victims of Hip Fracture: हिप फ्रैक्चर से पीड़ित होने के बाद पुरुषों में महिलाओं की तुलना में ऑस्टियोपोरोसिस विरोधी दवाएं लेने की संभावना 30% से 67% कम होती है। इसलिए पुरुषों के हिप फ्रैक्चर की रोकथाम और उपचार पर अधिक ध्यान दिया जाना चाहिए।” बुजुर्गों में यह चलने की दिक्कत भी पैदा कर सकता है। इस खातिर ज़रूरी है कि ट्रीटमेंट गैप को कम किया जाए और फ्रैक्चर के बाद विशेष ध्यान रखा जाए।