Publish Date - February 28, 2025 / 03:02 PM IST,
Updated On - February 28, 2025 / 03:02 PM IST
AAP Office Closed | Image Source-IBC24 File
HIGHLIGHTS
दिल्ली में 27 साल बाद भारतीय जनता पार्टी की वापसी हुई है।
मध्यप्रदेश में आप के पार्टी कार्यालय में ताला लग चुका है।
एमपी आप कार्यालय का पचास हजार रुपए का किराया बाकी है।
भोपाल। AAP Office Closed: दिल्ली में 27 साल बाद भारतीय जनता पार्टी की वापसी हुई है। तो वहीं बीजेपी ने आम आदमी पार्टी को सत्ता से विहिन कर दिया है। हालही में हुए विधानसभा चुनाव में आप को दिल्ली में करारी हार का सामना करना पड़ा। दिल्ली ही नहीं गुजरात, हरियाणा में भी आप को शिकस्त मिली है। अब इसका असर एमपी में साफतौर से देखने को मिल रहा है। मध्यप्रदेश में आप के पार्टी कार्यालय में ताला लग चुका है। बता दें कि एमपी आप कार्यालय का पचास हजार रुपए का किराया बाकी है। 2 महीना से किराया नहीं देने से मकान मालिक ने ऑफिस में ताला लगा दिया।
गौरतलब है कि भारतीय जनता पार्टी करीब 27 साल बाद दिल्ली की सत्ता में वापस की है। वहीं कांग्रेस के लिए ये चुनाव भी संकट भरा रहा। कांग्रेस पार्टी लगातार तीसरी बार दिल्ली विधानसभा चुनाव में एक भी सीट जीत पाने में नाकाम रही। हालांकि, इस बार पार्टी के वोट फीसदी में मामूली बढ़ोतरी हुई है। कांग्रेस ने इस चुनाव में 6.34 फीसदी वोट हासिल किए हैं। इससे पहले 2020 में पार्टी को महज 4.3 फीसदी वोट मिले थे।
मध्यप्रदेश में आम आदमी पार्टी (AAP) का कार्यालय क्यों बंद हुआ?
मध्यप्रदेश में आम आदमी पार्टी के कार्यालय को किराया न देने के कारण ताला लगा दिया गया है। कार्यालय पर 50,000 रुपए का किराया बाकी था, जो पिछले दो महीनों से नहीं चुकाया गया था।
आम आदमी पार्टी ने दिल्ली विधानसभा चुनाव में क्या परिणाम हासिल किया?
दिल्ली विधानसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी को करारी हार का सामना करना पड़ा। पार्टी को सत्ता से बाहर कर दिया गया, और भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) ने दिल्ली में 27 साल बाद वापसी की।
कांग्रेस पार्टी का दिल्ली विधानसभा चुनाव में क्या प्रदर्शन रहा?
कांग्रेस पार्टी दिल्ली विधानसभा चुनाव में तीसरी बार कोई भी सीट जीतने में नाकाम रही। हालांकि, पार्टी का वोट प्रतिशत मामूली रूप से बढ़ा है, जो 4.3 प्रतिशत से बढ़कर 6.34 प्रतिशत हो गया।
क्या आम आदमी पार्टी को मध्यप्रदेश में भी नुकसान हुआ है?
जी हां, दिल्ली और अन्य राज्यों में हार के बाद मध्यप्रदेश में भी आम आदमी पार्टी को नुकसान हुआ है, जिसका असर उनके कार्यालय की स्थिति पर पड़ा है।