Indore News: ये तो हाल है सरकारी कामों का!.. गड्ढों को बिना भरे ही कर दिया 7.50 करोड़ से ज्यादा का भुगतान, ऐसे खुली अफसरों-ठेकेदारों के साठगांठ की पोल

गड्ढों को बिना भरे ही कर दिया 7.50 करोड़ से ज्यादा का भुगतान, Indore News: Over Rs 7.50 crore paid without filling the potholes

Indore News: ये तो हाल है सरकारी कामों का!.. गड्ढों को बिना भरे ही कर दिया 7.50 करोड़ से ज्यादा का भुगतान, ऐसे खुली अफसरों-ठेकेदारों के साठगांठ की पोल

Indore News. Image Source- IBC24

Modified Date: September 27, 2025 / 12:07 am IST
Published Date: September 26, 2025 7:07 pm IST

इंदौरः Indore News: मध्य प्रदेश के लोक निर्माण विभाग में अफसरों-ठेकेदारों का ऐसा गठजोड़ सामने आया है, जिसमें बिना काम किए ही करोड़ों रुपए का भुगतान कर दिया। गठजोड़ के इस भ्रष्टाचार के कारण लोगों को गड्ढे भरी सड़कों पर सफर करना पड़ रहा है। दरअसल, पीडब्ल्यूडी ने ग्वालियर, दतिया, भिंड और मुरैना में कुल 210 किलोमीटर सड़कों की पेंच रिपेयरिंग, निर्माण व अन्य कार्यों के लिए दिल्ली के ट्रांसमेटेलाइट इंडिया लिमिटेड कंपनी को 7 करोड़ 62 लाख 30 हजार रुपए का ठेका दिया था। कंपनी ने बिना काम किए ही अफसरों से साठगांठ कर भुगतान लेना शुरू कर दिया। कंपनी को अब तक 6 करोड़ 31 लाख 71 हजार रुपए का भुगतान हो चुका है।

Indore News: विभाग के चीफ इंजीनियर रहते हुए एसएल सूर्यवंशी ने निरीक्षण के दौरान अफसरों-ठेकेदार की ये मिलीभगत पकड़ी थी। जिसके बाद चारों जिलों के कार्यपालन यंत्रियों को नोटिस देकर निर्देश दिए गए हैं कि भुगतान करने वाले अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई प्रस्तावित कर जवाब दें। आपको बता दें कि सीई ने ग्वालियर, मुरैना, भिंड और दतिया के कार्यपालन यंत्रियों को दिए आदेश में स्पष्ट किया है कि ठेकेदार कंपनी के जो बिल रुके हुए हैं, उनमें से उस राशि की कटौती की जाए जो काम किए बिना ली गई है। साथ ही उन अधिकारी-कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई प्रस्तावित की जाए, जिन्होंने बिना काम हुए भुगतान किए हैं। हालांकि, सीई के आदेश का पालन करते हुए अब तक किसी भी जिले के कार्यपालन यंत्री ने ऐसे अधिकारी-कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई प्रस्तावित नहीं की है।

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सवाल आपका है.. पत्रकारिता के माध्यम से जनसरोकारों और आप से जुड़े मुद्दों को सीधे सरकार के संज्ञान में लाना मेरा ध्येय है। विभिन्न मीडिया संस्थानों में 10 साल का अनुभव मुझे इस काम के लिए और प्रेरित करता है। कुशाभाऊ ठाकरे पत्रकारिता एवं जनसंचार विश्वविद्यालय से इलेक्ट्रानिक मीडिया और भाषा विज्ञान में ली हुई स्नातकोत्तर की दोनों डिग्रियां अपने कर्तव्य पथ पर आगे बढ़ने के लिए गति देती है।