Sagar Family Suicide Case: पत्नी का गांव के ही लड़के से था अवैध संबंध, आए दिन होता था परिवार में झगड़ा, अब पूरे परिवार ने उठाया ये खौफनाक कदम

पत्नी का गांव के ही लड़के से था अवैध संबंध, आए दिन होता था परिवार में झगड़ा, Sagar Family Suicide Case: Family consumed poison due to wife's affair

Sagar Family Suicide Case: पत्नी का गांव के ही लड़के से था अवैध संबंध, आए दिन होता था परिवार में झगड़ा, अब पूरे परिवार ने उठाया ये खौफनाक कदम
Modified Date: July 28, 2025 / 12:02 am IST
Published Date: July 27, 2025 7:59 pm IST

शिवम दत्त तिवारी, सागर: Sagar Family Suicide Case: मध्य प्रदेश के  सागर जिले के खुरई थाना क्षेत्र के टीहर गांव में एक ही परिवार के चार लोगों के जहर पीकर सामूहिक आत्महत्या कर ली। अब इस मामले को लेकर बड़ा खुलासा हुआ है। पत्नी की अन्य युवक से अवैध संबंध इस पूरे सामूहिक आत्महत्या की वजह बनी है। इसके चलते परिवार में झगड़ा होता रहता था। लगातार विवाद की स्थिति बनने से परेशान परिवार ने आत्महत्या कर अपनी जिंदगी खत्म कर ली। फिलहाल पुलिस मामले की जांच कर रही है। हालांकि अभी इस मामले में किसी की गिरफ्तारी नहीं हुई है।

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Sagar Family Suicide Case: मिली जानकारी के अनुसार टीहर गांव में शनिवार सुबह मनोहर लोधी (42) ने अपनी मां फूलरानी लोधी (70), बेटी शिवानी (18) और बेटे अनिकेत (16) ने जहर खा लिया था। इस दौरान फूलरानी और अनिकेत की मौके पर ही मौत हो गई। शिवानी ने खुरई अस्पताल में दम तोड़ा, जबकि मनोहर की जिला अस्पताल ले जाते समय रास्ते में जान चली गई। पुलिस के मुताबिक मनोहर लोधी की पत्नी कुछ दिन पहले मायके चली गई थी। घटना से कुछ घंटे पहले मनोहर की फोन पर पत्नी से बहस हुई थी। इसके बाद उसने अपनी मां और दो बच्चों के साथ ये कदम उठाया।

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पुलिस ने बरामद किया था सुसाइड नोट

बता दें कि मौके से पुलिस ने सुसाइड नोट भी बरामद किया था। इस नोट में लिखा गया था कि हमारी मां का किसी भी संपत्ति पर कोई हक नहीं रहेगा। तीन भैंसें हैं, जो एक-एक बुआ और चाचा को दी जाएं। भैंस की पड़िया (बछिया) बड़े पापा को सौंपी जाए। पूजा के बर्तन और सामग्री गांव के पंडित जी को दी जाए। पापा (मनोहर) के फोन-पे अकाउंट में 68 हजार रुपए हैं, वो बड़े पापा को दिए जाएं। दादी के 4 जेवर चारों बुआ को बराबर बांटे जाएं। हमारी जमीन चाचा जगदीश के नाम की जाए। गोदरेज की अलमारी में एक लाख 20 हजार रुपए रखे हैं, जो तेरहवीं में खर्च किए जाएं। मामा से दो लाख रुपए का कर्ज लिया था, जिसे पापा ने दो लाख 40 हजार चुका दिया है। हमारे ऊपर किसी की देनदारी नहीं है।


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सवाल आपका है.. पत्रकारिता के माध्यम से जनसरोकारों और आप से जुड़े मुद्दों को सीधे सरकार के संज्ञान में लाना मेरा ध्येय है। विभिन्न मीडिया संस्थानों में 10 साल का अनुभव मुझे इस काम के लिए और प्रेरित करता है। कुशाभाऊ ठाकरे पत्रकारिता एवं जनसंचार विश्वविद्यालय से इलेक्ट्रानिक मीडिया और भाषा विज्ञान में ली हुई स्नातकोत्तर की दोनों डिग्रियां अपने कर्तव्य पथ पर आगे बढ़ने के लिए गति देती है।