Ayushman Bharat Yojana: ‘इलाज के लिए घर जमीन बेचने को मजबूर थे लोग, तब पीएम मोदी की हेल्थ योजना ने थामा हाथ, आज सब पूछते हैं आयुष्मान कार्ड है ?

आयुष्मान भारत योजना 23 सितंबर, 2018 को भारत के प्रधानमंत्री द्वारा शुरू की गई एक महत्वपूर्ण स्वास्थ्य योजना है।

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  • Publish Date - September 16, 2022 / 04:25 PM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 09:37 AM IST

Ayushman Bharat Yojana: आयुष्मान भारत योजना 23 सितंबर, 2018 को भारत के प्रधानमंत्री द्वारा शुरू की गई एक महत्वपूर्ण स्वास्थ्य योजना है। इस योजना का मुख्य उद्देश्य प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना (PMJAY) के संरक्षण में लगभग 50 करोड़ गरीब भारतीयों का सूचीबद्ध अस्पताल में कैशलेस इलाज कराना है। पीएम-जेएवाई आयुष्मान भारत योजना के दो घटकों में से एक है, जो एक अन्य स्वास्थ्य और कल्याण केंद्र (HWC) हैं। इस योजना ने उस समय लोगो का हाथ थामा, जब लोग घर जमीन बेचने को मजबूर थे। आज आप किसी भी अस्पताल में चले जाइये, वहां ये जरुर पूछेंगे आयुष्मान कार्ड है? आयुष्मान कार्ड को इस योजना का एटीम कार्ड कहा जाए तो बड़ी बात नही होगी। नीचे अलग – अलग दो तरह की योजनाओं के बारे में जानकारी है। जो आपकी योजना के बारे में समझ विकशित करने में मदद करेगी।

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प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना (PMJAY)-ग्रामीण

भारत की लगभग 75 फीसदी आबादी ग्रामीण इलाकों में रहती है। आंकड़ों से पता चलता है कि 85 फीसदी ग्रामीण आबादी के पास स्वास्थ्य बीमा या आश्वासन योजनाओं में से किसी भी तरह के सुविधा की पहुँच नहीं है। ग्रामीण क्षेत्र में रहने वाले अधिकांश लोगों को अपनी चिकित्सा आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए करदाताओं और अन्य स्रोतों से उधार के पैसे पर निर्भर रहना पड़ता है। यह प्रक्रिया आगे चलकर उन्हें ऋण के खांई में धकेल देता है और उनकी वित्तीय स्थिति को सबसे ज्यादा प्रभावित करता है। इसे ध्यान में रखते हुए, पीएम-जेएवाई गरीब ग्रामीण परिवारों को 5 लाख रुपये का स्वास्थ्य बीमा कवर प्रदान करता है।

 

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प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना (PMJAY) – शहरी

बात जब स्वास्थ्य बीमा योजनाओं की आती है, तो शहरी क्षेत्रों में भी काफी चिंताजनक आंकड़े सामने आने लगते हैं। गांवों की तुलना में अधिक सुविधाएँ होने के बावजूद, तक़रीबन 82 फीसदी घरों में किसी भी प्रकार की स्वास्थ्य बीमा योजना नहीं है। इसके अलावा, शहरी क्षेत्रों में रहने वाले तक़रीबन 20 फीसदी गरीब, उधार के पैसे से अपने चिकित्सा खर्चों को पूरा करते हैं। योग्य शहरी व्यक्तियों को 5 लाख रुपये तक का स्वास्थ्य बीमा कवर प्रदान किया जाएगा।

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चिकित्सा सुविधाएं प्रदान की गईं

पीएम-जेएवाई के तहत आवंटित 5 लाख रुपये की राशि का उपयोग न केवल एक व्यक्ति बल्कि पूरे परिवार द्वारा किया जा सकता है। कवर में ह्रदय रोग, बाल रोग, हड्डी रोग, आदि सहित 25 विशिष्टताओं में चिकित्सा और सर्जिकल खर्च शामिल हैं। साथ ही 5 लाख की राशि वार्षिक रूप से प्रदान की जाती है और यह उन स्थितियों में भी लागू होती है जब बीमारी पहले से ही होती है।यह व्यय केंद्र और राज्य सरकारों द्वारा 3:2 के हिस्से में साझा किया जाता है, जो कि 60 से 40 फीसदी तक है।

 

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पीएम-जेएवाई कई गंभीर बीमारियों और सर्जरी जैसे प्रोस्टेट कैंसर, डबल वाल्व रिप्लेसमेंट, बाईपास सर्जरी, पल्मोनरी वाल्व रिप्लेसमेंट, स्कल बेस सर्जरी, रीढ़ की सर्जरी और जलने की सर्जरी, समेत अन्य कई सर्जरी को कवर करता है।आयुष्मान भारत योजना एक महत्वाकांक्षी योजना है जो गरीब भारतीय ग्रामीण और शहरी परिवारों को स्वास्थ्य सेवा प्रदान करने का प्रयास करती है। इससे तक़रीबन 10 करोड़ भारतीय परिवारों का वित्तीय बोझ और कर्ज बचता है जो वे अन्य माध्यम के जरिये अपने स्वास्थ्य खर्चों को पूरा करने में लगाते हैं। साथ ही, यह योजना 2030 तक भारत को सतत विकास लक्ष्यों (एसडीजी) तक पहुंचाएगी।

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