रायपुर। CM भूपेश बघेल ने प्रेसवार्ता में कहा कि छत्तीसगढ़ में एक रुपये की दर से चावल दिया जाता है। शांता कमेटी की रिपोर्ट ऐसी योजनाओं को बंद करने की सिफारिश करती है, बोनस देने वाले राज्यों से अनाज नहीं लेने की सिफारिश भी इस कमेटी ने की है । Cm ने भाजपा और रमन सिंह से कई सवाल भी पूछे, सीएम ने कहा कि स्वामीनाथन कमेटी का समर्थन करते हैं या विरोध? किसानों की आय को दोगुना कब करेंगे? केंद्र ने बोनस देने पर रोक लगाया, इसके पक्ष में है या नहीं?
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संसद से पारित तीन कृषि बिल के खिलाफ मोर्चा खोलते हुए मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने प्रेस कांन्फ्रेंस करके केंद्र सरकार को घेरा। CM भूपेश बघेल ने कहा कि केंद्र सरकार द्वारा पारित बिल अवैधानिक है, ट्रेड शब्द जोड़कर बिल लाया गया, जो संघीय ढाँचा के विपरीत है, ऐसी स्थिति में भविष्य में केंद्र टैक्स भी लगा सकती है। श्रम क़ानून राज्यों के बिना विश्वास के लाया गया, शांता कमेटी की रिपोर्ट अनुसार यह क़ानून लागू किया गया।
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राजीव भवन में मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के साथ PC में मंत्री रविंद्र चौबे, मोहम्मद अकबर, शिव डहरिया भी मौजूद रहे। कृषि सुधार क़ानून, श्रम क़ानून में परिवर्तन को लेकर सीएम ने केंद्र सरकार पर जमकर हमला बोला। सीएम ने कहा कि जो बिल लाए गए हम उसका विरोध करते हैं, सीएम ने कहा कि केंद्र सरकार किसानों को धोखा दे रही है।
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सीएम ने कहा कि कांट्रैक्ट फॉर्मिंग में कई कानूनी दांव पेंच है जिसमें अनपढ़ और कम पढ़े लिखे लोग फंस कर रह जाएंगे, व्यापारी अब सस्ते दाम पर खरीदकर मनमाने दाम पर बेंचेगे। सीएम ने कहा कि यह पीडीएस सिस्टम को खत्म करने की साजिश है। किसानों को पहले भी अपनी उपज बेचने के लिए छूट थी। छत्तीसगढ़ में 90 प्रतिशत किसानों को एमएसपी के अलावा अतिरिक्त भी लाभ दिया गया है।