सूरज परमार आत्महत्या मामला: उच्च न्यायालय ने चार आरोपियों की जमानत रद्द करने के अनुरोध वाली याचिका खारिज की

सूरज परमार आत्महत्या मामला: उच्च न्यायालय ने चार आरोपियों की जमानत रद्द करने के अनुरोध वाली याचिका खारिज की

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  • Publish Date - July 11, 2021 / 01:08 PM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 08:48 PM IST

ठाणे, 11 जुलाई (भाषा) बंबई उच्च न्यायालय ने वर्ष 2015 में ठाणे के बिल्डर सूरज परमार की आत्महत्या के मामले में चार आरोपियों की जमानत रद्द करने की महाराष्ट्र सरकार की याचिका खारिज कर दी है।

इस मामले के तीन आरोपी ठाणे नगर निकाय में पार्षद हैं जबकि चौथा आरोपी पूर्व पार्षद है।

परमार ने अक्टूबर 2015 में खुद को गोली मारकर आत्महत्या कर ली थी। परमार ने अपने सुसाइड नोट में चार पार्षदों पर उसे ऐसा कदम उठाने पर मजबूर करने का आरोप लगाया था। साथ ही आरोप लगाया था कि चारों आरोपी उसे पैसे के लिए परेशान कर रहे थे।

ठाणे की एक जिला अदालत ने चारों आरोपियों राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के पार्षद हनुमंत जगदाले, नजीब मुल्ला, कांग्रेसी पार्षद विक्रांत चव्हाण और महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना के पूर्व पार्षद सुधाकर चव्हाण को जमानत प्रदान की थी।

उच्च न्यायालय के न्यायाधीश न्यायमूर्ति प्रकाश डी नाइक ने सात जुलाई के अपने आदेश में जमानत रद्द करने के अनुरोध वाली महाराष्ट्र सरकार की याचिका खारिज कर दी।

भाषा शफीक दिलीप

दिलीप