तीन अंतरिक्ष यात्रियों को लेकर नये अंतरिक्ष स्टेशन पर पहुंचा चीनी यान

तीन अंतरिक्ष यात्रियों को लेकर नये अंतरिक्ष स्टेशन पर पहुंचा चीनी यान

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  • Publish Date - June 17, 2021 / 11:30 AM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 07:48 PM IST

बीजिंग/जियुक्वान (चीन), 17 जून (भाषा) चीन के तीन अंतरिक्ष यात्रियों को लेकर गोबी मरूस्थल से रवाना होने के कुछ ही घंटों बाद एक चीनी अंतरिक्ष यान देश के निर्माणाधीन अंतरिक्ष स्टेशन पर सफलतापूर्वक पहुंच गया। इस घटनाक्रम को अंतरिक्ष शक्ति बनने की चीन की महत्वाकांक्षी कोशिश में एक बड़ी सफलता के तौर पर देखा जा रहा है।

चाइना मैन्ड स्पेस एजेंसी (सीएमएसए) के मुताबिक शेझाउ-12 अंतरिक्ष यान बृहस्पतिवार दोपहर अंतरिक्ष स्टेशन के कोर मॉड्यूल तियान्हे से सफलतापूर्वक जुड़ गया।

सरकारी शिन्हुआ समाचार एजेंसी की खबर के मुताबिक अंतरिक्ष यान को बृहस्पतिवार सुबह रवाना किया गया था और बीजिंग के समय के मुताबिक यह दोपहर तीन बज कर 54 मिनट पर तियान्हे के अगले हिस्से से जुड़ गया। खबर के मुताबिक इस पूरी प्रक्रिया में करीब 6.5 घंटे का वक्त लगा।

चीन के हालिया मंगल और पिछले चंद्र अभियान के बाद देश के लिए सर्वाधिक प्रतिष्ठित एवं रणनीतिक रूप से महत्वपूर्ण मानी जा रही यह अंतरिक्ष परियोजना आसमान से चीन की निगेहबानी करेगी। इसके जरिए शेष विश्व पर उसके अंतरिक्ष यात्री पैनी नजर रख सकेंगे।

तियान्हे पर उतरने के बाद अंतरिक्ष यात्री, नीये हेशेंग (56), लियू बूमिंग (54) और तांग होंगबो (45) तीन महीने के अभियान पर वहां रहेंगे। वे अंतरिक्ष स्टेशन के निर्माण से जुड़े कार्य करेंगे, जिसके अगले साल तक तैयार होने की उम्मीद है।

हेशेंग ने पृथ्वी की कक्षा के पास पहुंचने पर कहा, ‘‘बहुत अच्छा महसूस हो रहा है। ’’ वह इसे पहले ही भी दो अंतरिक्ष अभियानों में जा चुके हैं।

यह चीन का सबसे लंबा और करीब पांच साल में पहला मानवयुक्त अंतरिक्ष अभियान होगा।

अगले महीने चीन की कम्युनिस्ट पार्टी ‘कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ चाइना’ (सीपीसी) के शताब्दी समारोहों से पहले इस अंतरिक्ष यान को भेजा जाना उसके नेतृत्व में चीन की एक अहम उपलब्धि को प्रदर्शित करता है।

इस स्टेशन के तैयार हो जाने पर यह पाकिस्तान जैसे चीन के करीबी सहयोगियों और अन्य अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष सहयोग साझेदारों के लिए भी उपलब्ध होने की उम्मीद है।

इसके तैयार हो जाने पर चीन एकमात्र देश होगा जिसके पास अपना अंतरिक्ष स्टेशन होगा, जबकि अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन (आईएसएस) कई देशों की सामूहिक परियोजना है।

चीन का अंतरिक्ष स्टेशन रोबोटिक आर्म से लैस होगा, जिसके संभावित सैन्य इस्तेमालों की आशंका को लेकर अमेरिका ने अपनी चिंता प्रकट की है।

भाषा

सुभाष पवनेश

पवनेश