भारत ने ओमान के साथ व्यापार समझौते में डेयरी, सोना-चांदी, फुटवियर को संवेदनशील सूची में रखा

भारत ने ओमान के साथ व्यापार समझौते में डेयरी, सोना-चांदी, फुटवियर को संवेदनशील सूची में रखा

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  • Publish Date - December 18, 2025 / 04:32 PM IST,
    Updated On - December 18, 2025 / 04:32 PM IST

मस्कट, 18 दिसंबर (भाषा) भारत ने ओमान के साथ बृहस्पतिवार को संपन्न व्यापक आर्थिक भागीदारी समझौते (सीईपीए) के तहत घरेलू किसानों और सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यमों (एमएसएमई) के हितों की रक्षा के लिए कई संवेदनशील उत्पादों पर कोई शुल्क रियायत नहीं दी है।

वाणिज्य मंत्रालय ने कहा कि राष्ट्रीय हितों की सुरक्षा के लिए इन संवेदनशील उत्पादों को ‘छूट से बाहर की श्रेणी’ में रखा गया है।

मंत्रालय के मुताबिक, शुल्क छूट से बाहर रखे गए उत्पादों में डेयरी एवं कृषि उत्पाद, चाय, कॉफी, रबर, तंबाकू उत्पाद, सोना-चांदी का बुलियन एवं आभूषण और जूते-चप्पल, खेल सामान और कई मूल धातुओं के स्क्रैप शामिल हैं।

मंत्रालय ने कहा, “संवेदनशील क्षेत्रों की सुरक्षा के लिए इन उत्पादों पर किसी भी तरह की शुल्क रियायत नहीं दी गई है ताकि घरेलू उत्पादकों और एमएसएमई पर प्रतिकूल प्रभाव न पड़े।”

मंत्रालय के मुताबिक, जिन उत्पादों में ओमान की निर्यात रुचि है और जो भारत के लिए संवेदनशील हैं, वहां अधिकांश मामलों में शुल्क-दर कोटा (टीआरक्यू) आधारित शुल्क उदारीकरण की पेशकश की गई है।

टीआरक्यू व्यवस्था के तहत एक तय मात्रा (कोटा) तक आयात पर कम या शून्य शुल्क लागू होता है, जबकि उस सीमा से अधिक आयात होने पर सामान्य शुल्क देना होता है।

इस श्रेणी में खजूर, संगमरमर एवं पेट्रोकेमिकल उत्पाद शामिल किए गए हैं।

एक अधिकारी ने कहा कि ओमान ने भारतीय कंपनियों को संगमरमर के ब्लॉक आयात करने की अनुमति दी है, जबकि यह खाड़ी देश में आमतौर पर प्रतिबंधित निर्यात वस्तु मानी जाती है।

इस व्यापार समझौते के तहत खजूर के लिए सालाना 2,000 टन का शुल्क-मुक्त कोटा तय किया गया है।

भाषा प्रेम प्रेम रमण

रमण