(8th Pay Commission Updates / Image Credit: Pixabay)
नई दिल्ली: 8th Pay Commission Updates: केंद्र सरकार द्वारा हाल ही में 8वें वेतन आयोग के लिए टर्म ऑफ रेफरेंस (ToR) की अधिसूचना जारी किए जाने के बाद आयोग ने आधिकारिक तौर पर काम शुरू कर दिया है। सरकार ने आयोग को 18 महीनों के भीतर अपनी सिफारिशें प्रस्तुत करने का निर्देश दिया है। इन सिफारिशों का सीधा असर लगभग 50 लाख केंद्रीय कर्मचारियों और 65 लाख पेंशनधारकों पर पड़ेगा।
किसी भी वेतन आयोग का पूरा ढांचा ToR (टर्म्स ऑफ रेफरेंस) पर आधारित होता है। सरल भाषा में कहें, तो ToR वह दस्तावेज है जिसमें यह तय होता है कि आयोग किन-किन विषयों पर समीक्षा करेगा।
8वें वेतन आयोग के ToR में शामिल प्रमुख बिंदु-
नई बेसिक सैलरी तय करने में फिटमेंट फैक्टर सबसे अहम भूमिका निभाता है। कर्मचारी की वर्तमान बेसिक सैलरी को इसी फैक्टर से गुणा किया जाता है। 7वें वेतन आयोग में फिटमेंट फैक्टर 2.57 था। वहीं, 8वें वेतन आयोग में ये फैक्टर 1.83 से 2.86 रहने की संभावना है। फैक्टर जितना बड़ा होगा, बेसिक सैलरी में उतनी अधिक बढ़ोतरी होगी।
यदि आपकी वर्तमान बेसिक सैलरी 25,000 रुपये है-
इससे यह स्पष्ट है कि छोटे बदलाव से सैलरी में बड़ा फर्क पड़ता है।
नई सिफारिशों का लाभ पेंशनधारकों को भी मिलेगा। यदि वर्तमान बेसिक पेंशन 9,000 रुपये है, तो नए फिटमेंट फैक्टर से यह बढ़कर 25,740 रुपये तक जा सकती है। यानी पेंशन में लगभग 3 गुना वृद्धि संभव है।
आयोग का उद्देश्य मौजूदा वेतन प्रणाली की समीक्षा करना, वेतन मैट्रिक्स में सुधार सुझाना और महंगाई के अनुरूप नया वेतन ढांचा तैयार करना है। साथ ही यह पेंशन सिस्टम को भी अपडेट करता है। यदि प्रक्रिया समय पर पूरी हुई, तो 1 जनवरी 2026 से नया वेतनमान लागू हो सकता है।
8वें वेतन आयोग के लागू होने के बाद बेसिक सैलरी के साथ HRA, TA, DA (नई बेसिक के आधार पर) और पेंशन सबमें बड़ा उछाल आएगा। अनुमान है कि कुल सैलरी में 30-34% तक की बढ़ोतरी संभव है।