गंगोत्री राजमार्ग का 100 मीटर हिस्सा भूधंसाव की चपेट में, वाहनों के आवागमन पर रोक

गंगोत्री राजमार्ग का 100 मीटर हिस्सा भूधंसाव की चपेट में, वाहनों के आवागमन पर रोक

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  • Publish Date - August 27, 2023 / 04:12 PM IST,
    Updated On - August 27, 2023 / 04:12 PM IST

उत्तरकाशी, 27 अगस्त (भाषा) उत्तराखंड के उत्तरकाशी जिले में चिन्यालीसौड़ में रविवार को ऋषिकेश—गंगोत्री राष्ट्रीय राजमार्ग के लगभग 100 मीटर हिस्से के जबरदस्त भूधंसाव की चपेट में आने से वाहनों का आवागमन पूरी तरह से रोक दिया गया है।

पुलिस ने बताया कि राजमार्ग पर भूधंसाव होने से पुलिस प्रशासन एवं सीमा सड़क संगठन (बीआरओ) द्वारा वाहनों की आवाजाही रोक दी गयी है।

भूधंसाव से झील के तटवर्ती क्षेत्र में रह रहे क्षेत्रवासी भी दहशत में आ गए हैं।

पिछले लंबे समय से इस स्थान पर भूधंसाव हो रहा था लेकिन शनिवार रात राष्ट्रीय राजमार्ग का एक बड़ा हिस्सा इसकी चपेट में आ गया।

क्षेत्रवासियों का कहना है कि टिहरी बांध की झील का जलस्तर जैसे-जैसे बढ़ता जा रहा है, इसके तटवर्ती क्षेत्र में भूधंसाव बढ़ रहा है। रविवार को टिहरी बांध की झील का जलस्तर लगभग 822.14 मीटर तक पहुंच गया है।

झील का जल स्तर बढ़ने से शनिवार रात को वाल्मीकि मोहल्ले के समीप जबरदस्त भूधंसाव होने से राष्ट्रीय राजमार्ग संख्या 94 का लगभग 100 मीटर हिस्सा झील में समाने के कगार पर आ गया है।

इससे वाल्मीकि मोहल्ला, लोक निर्माण विभाग, वन विभाग, सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र, जखवाडी मोहल्ला,जोगथ रोड ,बिजल्वाण व रमोला मोहल्ला , आर्च ब्रिज से पीपल मंडी, आर्च ब्रिज से चिन्यालीसौड़, हडियारी, बंधानगांव मोटर मार्ग सहित झील के अनेक तटवर्ती क्षेत्र भी भूधंसाव की जद है।

गौरतलब है कि 25 अगस्त को बीआरओ के सहायक अभियंता विनोद कुमार देवड़ी, टीएचडीसी इंडिया के अपर महाप्रबंधक दिनेश शुक्ला, उप प्रबंधक अतुल बहुगुणा आदि अधिकारियों ने प्रभावित क्षेत्र का दौरा किया था।

पूर्व नगरपालिका अध्यक्ष शूरवीर रांगड़ ने कहा कि नगुण से बड़ेथी तक लगभग सात किलोमीटर के क्षेत्र में पिछले पांच साल से भूधंसाव एवं भूस्खलन बढ़ता जा रहा है जिसके समाधान के लिए टीएचडीसी इंडिया ने प्रभावित क्षेत्र में कार्य शुरू कर दिया है।

हालांकि, वाल्मीकि मोहल्ले के नजदीक राष्ट्रीय राजमार्ग का करीब 100 मीटर हिस्सा भूधंसाव की जद में आ गया।

रांगड़ ने जगह-जगह भूधंसाव से चिन्यालीसौड़ के भविष्य को खतरे में बताते हुए कहा कि अगर इस संबंध में तत्काल कार्रवाई नहीं की जाती है तो प्रभावित क्षेत्र के लोग टीएचडीसी इंडिया के खिलाफ धरना प्रदर्शन करेंगे।

भाषा सं दीप्ति दीप्ति रंजन

रंजन