कोवैक्सीन को आपात उपयोग की सूची में शामिल करने पर फैसला 4-6 सप्ताह में: डब्ल्यूएचओ

कोवैक्सीन को आपात उपयोग की सूची में शामिल करने पर फैसला 4-6 सप्ताह में: डब्ल्यूएचओ

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Modified Date: November 29, 2022 / 08:51 PM IST
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Published Date: July 10, 2021 10:40 am IST

नयी दिल्ली, 10 जुलाई (भाषा) विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) भारत बायोटेक के कोविड-19 रोधी टीके कोवैक्सीन को आपात उपयोग की सूची (ईयूएल) में शामिल करने पर फैसला चार से छह सप्ताह में कर सकता है। डब्ल्यूएचओ की प्रमुख वैज्ञानिक सौम्या विश्वनाथन ने यह बात कही।

स्वामीनाथन ने शुक्रवार को सेंटर फॉर साइंस एंड एनवॉयरमेंट (सीएसई) द्वारा आयोजित वेबिनार को संबोधित करते हुए कहा कि कोवैक्सीन के निर्माता भारत बायोटेक उसके समस्त आंकड़े को हमारे पोर्टल पर अपलोड कर रहे हैं और डब्ल्यूएचओ इस टीके की समीक्षा कर रहा है।

डब्ल्यूएचओ के दिशानिर्देशों के अनुसार ईयूएल एक प्रक्रिया है जिसके तहत नये या गैर-लाइसेंस प्राप्त उत्पादों का इस्तेमाल सार्वजनिक स्वास्थ्य की आपात स्थितियों में किया जा सकता है।

स्वामीनाथन ने कहा, ‘‘ईयूएल की एक प्रक्रिया होती है जिसमें किसी कंपनी को तीसरे चरण के परीक्षण पूरे करने होते हैं और सारे आंकड़े डब्ल्यूएचओ के नियामक विभाग को जमा करने होते हैं जिनका एक विशेषज्ञ परामर्शदाता समूह अध्ययन करता है।’’

उन्होंने कहा, ‘‘पूरे आंकड़े प्रदान किये जाते हैं जिनमें सुरक्षा और प्रभाव तथा उत्पादन गुणवत्ता, मानक शामिल हैं। भारत बायोटेक ने पहले ही आंकड़े जमा कर दिये हैं और मुझे उम्मीद है कि चार से छह सप्ताह में टीके को शामिल करने पर फैसला ले लिया जाएगा।’’

इस समय डब्ल्यूएचओ ने फाइजर-बायोएनटेक, एस्ट्राजेनेका-एसके बायो-सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया, एस्ट्राजेनेका ईयू, जानसेन, मॉडर्ना और सिनोफार्म के टीकों को आपात उपयोग के लिए मंजूरी दी है।

स्वामीनाथन ने कहा, ‘‘अभी हमने छह टीकों को ईयूएल के साथ मंजूरी दी है और हमारे रणनीतिक विशेषज्ञ परामर्श समूह से सिफारिशें प्राप्त हुई हैं। हम कोवैक्सीन को लेकर आशान्वित हैं। भारत बायोटेक ने हमारे पोर्टल पर उनके आंकड़े डालना शुरू कर दिया है और यह अगला टीका होगा जिसकी समीक्षा हमारी विशेषज्ञ समिति करेगी।’’

उन्होंने यह भी कहा कि कोरोना वायरस का डेल्टा स्वरूप तेजी से फैलता है। इसके खिलाफ सुरक्षा के लिए टीके की दो खुराक लेना जरूरी है। लेकिन टीका लगवाने के बाद भी संक्रमण फैल सकता है। इसलिए मास्क लगाना और अन्य सावधानियां बरतते रहना जरूरी है।

भाषा वैभव सुभाष

सुभाष

 

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