बेंगलुरु, आठ सितंबर (भाषा) कर्नाटक सरकार ने अब तक ‘पांच गारंटियों’ पर 97,813 करोड़ रुपये खर्च किए हैं। मुख्यमंत्री सिद्धरमैया के कार्यालय ने सोमवार को यह जानकारी दी।
सिद्धरमैया ने सोमवार को पांच गारंटियों पर एक समीक्षा बैठक की अध्यक्षता की।
बाद में मुख्यमंत्री कार्यालय ने एक बयान में कहा, ‘‘पांच गारंटी योजनाओं के तहत अब तक 97,813 करोड़ रुपये खर्च किए जा चुके हैं।’’
ये पांच गारंटी योजनाएं हैं ‘गृह ज्योति’, ‘गृह लक्ष्मी’, ‘अन्न भाग्य’, ‘युवा निधि’ और ‘शक्ति’ योजना।
‘गृह ज्योति’ योजना के तहत हर घर को 200 यूनिट मुफ्त बिजली दी जाती है, ‘गृह लक्ष्मी’ योजना के तहत परिवार की प्रत्येक महिला मुखिया को 2,000 रुपये दिए जाते हैं और ‘अन्न भाग्य’ के तहत बीपीएल (गरीबी रेखा से नीचे) परिवार के प्रत्येक सदस्य को हर महीने 10 किलो चावल दिया जाता है।
‘युवा निधि’ के तहत बेरोजगार स्नातकों को 3,000 रुपये और बेरोजगार डिप्लोमा धारकों को दो साल के लिए 15-15 सौ रुपये (18 से 25 आयु वर्ग के लोगों के लिए) देने का वादा किया गया है और ‘शक्ति’ योजना कर्नाटक की महिलाओं को राज्य के भीतर गैर-लक्जरी सरकारी बसों में मुफ्त यात्रा की सुविधा देती है।
बयान में कहा गया है कि ‘गृह लक्ष्मी’ योजना के तहत 50,005 करोड़ रुपये, ‘गृह ज्योति’ योजना के तहत 18,139 करोड़ रुपये, ‘युवा निधि’ योजना के तहत 623 करोड़ रुपये, ‘शक्ति’ योजना के तहत 13,903 करोड़ रुपये और ‘अन्न भाग्य’ योजना के तहत 11,821.17 करोड़ रुपये खर्च किए गए हैं।
बयान में कहा गया है कि उन्होंने अधिकारियों से कहा कि उन लाभार्थियों के नाम सूची से हटा दिए जाएं जिनकी मृत्यु हो चुकी है।
सिद्धरमैया ने कहा, ‘‘लाभार्थियों को शामिल करने और हटाने के लिए पंचायत स्तर पर कार्रवाई की जानी चाहिए।’’
भाषा सुरभि नरेश
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