बकरीद पर एहतियात बरतें मुसलमान, पशुओं की सार्वजनिक कुर्बानी ना दें, फोटो-वीडियो ना बनाएं- ना शेयर करें

बकरीद पर एहतियात बरतें मुसलमान, पशुओं की सार्वजनिक कुर्बानी ना दें, फोटो-वीडियो ना बनाएं- ना शेयर करें

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  • Publish Date - August 10, 2019 / 01:15 PM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 08:34 PM IST

लखनऊ। 12 अगस्त को पूरे देश में मुस्लिम बकरीद का त्यौहार मनाएंगे । इसके पहले उत्तर प्रदेश के लखनऊ स्थित ऐशबाग ईदगाह के इमाम मौलाना खालिद रशीद फरंगी महली ने मुसलमानों को ताकीद की है। मौलाना महली ने कहा कि कुर्बानी देने की फोटो सोशल मीडिया या अन्य प्लेटफॉर्म पर अपलोड न करें । ज्याद बेहतर होगा कुर्बानी के पहले जानवर की फोटो ली ही ना जाए। इमाम मौलाना खालिद रशीद फरंगी महली ने शुक्रवार की नमाज के बाद मुसलमानों को संबोधित करते हुए, अप्रिय घटनाओं को रोकने के लिए सात सूत्रीय सलाह दी है।

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मौलाना महली ने मुस्लिम समाज से प्रतिबंधित पशुओं की कुर्बानी नहीं देने को भी कहा। उन्होंने कहा कि किसी पशु की कुर्बानी देते वक्त कोई तस्वीर या वीडियो नहीं बनाएं । मौलाना स्पष्ट करते हुए कहा कि ऐसी तस्वीरों में बहुत अधिक खून और पीड़ा होती है, जो महिलाओं और बच्चों के लिए खौफनाक हो सकती है। यदि ऐसी तस्वीरें, यदि कोई हैं, तो उन्हें सोशल मीडिया पर अपलोड न करें, ऐसी तस्वीरों को शेयर करने से पूर्णतया परहेज करें। मौलाना ने कहा कि ऐसा करने से आम लोगों की भावनाएं आहत हो सकती हैं और इस्लाम हमें किसी की भावनाओं को आहत करने की अनुमति नहीं देता है।

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लखनऊ शहर में मुसलमानों को यह भी कहा गया है कि कुर्बानी के बाद पशुओं के अंगों को सड़क पर न फेंके न ही नालियों में कुर्बानी का खून बहाएं। मौलाना ने नसीहत देते हुए कहा कि कोई भी सड़क या गलियों में कुर्बानी न दें। ऐसा करना लोगों के लिए परेशानी पैदा कर सकता है और यह तरीका इस्लाम के भी खिलाफ है।

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मौलाना महली ने मुसलमानों ने कहा कि कुर्बानी के बाद निकलने वाले अवशेषों को नगर निगम द्वारा रखे गए कचरे के डिब्बों में ही डालें। उन्हें इधर-उधर न फेंके। उन्होंने कहा कि इसके लिए नगर निगम से भी कहा गया है कि मुस्लिम बाहुल्य इलाकों में अवशेष डिस्पोज करने की माकूल व्यवस्थाएं की जाएं।

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