लखनऊ। उन्नाव रेप मामले में आखिरकार विधायक कुलदीप सिंह सेंगर के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर ली गई है। उन पर पॉक्सो एक्ट के तहत भी मामला दर्ज किया गया है। उधर, इस मामले में बैकफुट पर खड़ी योगी सरकार के नेताओं की असंवेदनहीन बयानबाजी का दौर जारी है। बैरिया से बीजेपी विधायक सुरेंद्र सिंह ने कुलदीप सिंह सेंगर के बचाव में विवादित बयान दिया है। उनका कहना है कि तीन बच्चों की मां के साथ कोई रेप करता है क्या? बीजेपी विधायक के इस बयान के बाद एक बार फिर यूपी सरकार की किरकिरी हुई है.
योगी आदित्यनाथ सरकार ने बुधवार को देर रात उन्नाव बलात्कार मामले की जांच सीबीआई को सौंपने का फैसला किया, जिसमें भाजपा विधायक कुलदीप सिंह सेंगर का नाम आरोपी के रूप में शामिल है। यह कदम ऐसे समय आया जब सेंगर नाटकीय ढंग से पुलिस के सामने पेश हुए, लेकिन समर्पण करने से मना कर दिया।
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18 वर्षीय लड़की से बलात्कार के मामले में विधायक कुलदीप सिंह सेंगर की कथित संलिप्तता के कारण बढ़ती मुश्किल के बीच राज्य सरकार ने विधायक और अन्य आरोपियों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कर लिया गया है।
प्रधान सचिव (सूचना) ने एक बयान में कहा, ‘‘विधायक कुलदीप सिंह सेंगर पर बलात्कार के आरोपों पर विचार करते हुए उचित धाराओं के तहत प्राथमिकी दर्ज की गई और जांच सीबीआई को सौंपी जा रहा है।
सरकार ने पीड़िता के पिता की मौत की जांच भी सीबीआई से कराने का फैसला किया है. बयान में कहा गया है कि पीड़िता के पिता की मौत से संबधित घटनाओं की जांच भी सीबीआई को सौंपी जाएगी। ये फैसले मामले की जांच के लिए अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक ( लखनऊ जोन) के अधीन गठित विशेष जांच टीम के सरकार को रिपोर्ट सौंपने के बाद लिए गए।
घटनाक्रम तब हुआ जब कुछ घंटे पहले ही इलाहाबाद उच्च न्यायालय ने वरिष्ठ अधिवक्ता गोपाल स्वरूप चतुर्वेदी के पत्र पर राज्य सरकार से घटना पर उसका रुख पूछा और मामले की सुनवाई गुरुवार तक के लिए स्थगित कर दी।
इसके साथ ही योगी सरकार ने उन्नाव जिला अस्पताल के दो डॉक्टरों को निलंबित कर अनुशासनात्मक कार्रवाई के आदेश दिए हैं. जेल अस्पताल के भी तीन डॉक्टरों पर भी कार्रवाई की गाज गिरी है जिन पर पीड़िता के पिता के इलाज में लापरवाही बरतने का आरोप है।
वेब डेस्क, IBC24