देश को विभाजित करना कांग्रेस का इतिहास! मुस्लिमों को 4% आरक्षण पर छत्तीसगढ़ में चले जुबानी तीर

4% reservation for Muslims: डिप्टी CM अरुण साव ने कहा कांग्रेस का काम तुष्टिकरण की राजनीति करना है। देश को विभाजित करना कांग्रेस का इतिहास है। बाबा अंबेडकर के विचारों के विपरीत कांग्रेस काम करती है।

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  • Publish Date - March 16, 2025 / 07:29 PM IST,
    Updated On - March 16, 2025 / 07:32 PM IST

4% reservation for Muslims, image source: ibc24

HIGHLIGHTS
  • डिप्टी CM अरुण साव ने कहा कांग्रेस का काम तुष्टिकरण की राजनीति करना
  • कर्नाटक में ठेके में मुस्लिमों ठेकेदारों को 4% आरक्षण
  • राज्यों में वर्ग की स्थिति के आधार पर आरक्षण

रायपुर: 4% reservation for Muslims कर्नाटक में मुस्लिमों को ठेका में 4% आरक्षण मिलेगा । इस पर डिप्टी CM अरुण साव ने कहा कांग्रेस का काम तुष्टिकरण की राजनीति करना है। देश को विभाजित करना कांग्रेस का इतिहास है। बाबा अंबेडकर के विचारों के विपरीत कांग्रेस काम करती है। वहीं इस मामले में कांग्रेस ने भी बड़ा पलटवार किया है।

कर्नाटक में ठेके में मुस्लिमों ठेकेदारों को 4% आरक्षण को लेकर कैबिनेट मंत्री रामविचार नेताम ने कहा कांग्रेस हमेशा तुष्टिकरण की राजनीति करती है। छत्तीसगढ़ कांग्रेस सरकार में भी तुष्टिकरण की राजनीति हुई। किसी ने जमीन पर तो किसी ने घर पर अवैध कब्जे किए। कांग्रेस सरकार में अवैध रूप से कई लोग आ गए थे ।क्योंकि सरकार में उनके एक आका बैठे थे। मंत्री नेताम ने कहा कांग्रेस मुस्लिम को आकर्षित करने काम करती है। कांग्रेस वोट के लिए मुस्लिमों के आगे घुटने टेकती है।

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कांग्रेस ने किया बड़ा पलटवार

4% reservation for Muslims कांग्रेस शासित कर्नाटक सरकार ने सरकारी ठेकों में मुस्लिमों को 4 प्रतिशत आरक्षण देने का फैसले किया है। इस पर छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के सोशल मीडिया में शासकीय ठेके में धर्म आधारित आरक्षण देना निंदनीय और अस्वीकार्य बताने पर कॉग्रेस ने पलटवार किया है। कॉग्रेस प्रदेश प्रवक्ता सुशील आनंद शुक्ला का बयान सामने आया है।

सुशील शुक्ला ने अपने बयान में कहा कि मुस्लिमों को सबसे पहले आरक्षण आंध्रप्रदेश में चंद्रबाबू नायडू ने दिया था, जिनकी बैसाखी से केंद्र सरकार चल रही है। तो साय जी को प्रधानमंत्री से कहना चाहिए कि तत्काल बैसाखी फेंक दें। उन्होने कहा कि किसी भी राज्य की सरकारें अपने राज्यों में वर्ग की स्थिति के आधार पर आरक्षण देती आई है।

सीएम साय ने एक्स पोस्ट में किया आरक्षण का विरोध

4% reservation for Muslims आपको बता दें कि सीएम विष्णु देव साय ने कर्नाटक सरकार के इस फैसले को लेकर कहा था कि ”जहां भी दुर्भाग्य से कांग्रेस सत्ता में होती है, वह भारतीय संविधान का सबसे पहले गला घोंटने की कोशिश करती है। यह तुष्टीकरण की पराकाष्ठा है। धर्म आधारित आरक्षण के विरुद्ध वैसे भी अनेक बार माननीय न्यायालयों ने निर्णय दिया है। यह फैसला भी न्यायालय में टिकेगा नहीं, यह कांग्रेस का राष्ट्रीय नेतृत्व भी भली-भांति जानता है। किंतु हमेशा की तरह समाज में वैमनस्य पैदा करने के लिए कांग्रेस का यह सोचा समझा षड्यंत्र है। देश-प्रदेश के आदिवासी, दलित और वंचित लोगों को संविधान द्वारा दिये आरक्षण के साथ इस तरह खिलवाड़ सहन योग्य नहीं है। कांग्रेस अध्यक्ष श्री खरगे और राहुल गांधी जल्द से जल्द इसे वापस लेने का निर्देश मुख्यमंत्री सिद्धारमैया को दें। सीएम ने लिखा दुःखद है कि वंचित समाज से आने वाले खरगे, सोनिया और राहुल के बहकावे में आकर अपने ही समाज के विरुद्ध साजिशें रचने में स्वयं को इस्तेमाल होने दे रहे हैं। चेत जाइए खरगे जी। इतिहास इस तरह आपको माफ नहीं करेगा”

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1. कर्नाटक सरकार ने मुस्लिमों को 4% आरक्षण क्यों दिया?

कर्नाटक सरकार ने सरकारी ठेकों में मुस्लिम समुदाय को 4% आरक्षण देने का फैसला किया, जिसका उद्देश्य इस समुदाय के ठेकेदारों को आर्थिक अवसर देना है।

2. इस फैसले का विरोध क्यों किया जा रहा है?

बीजेपी और अन्य विपक्षी दलों का कहना है कि यह तुष्टीकरण की राजनीति है और संविधान के खिलाफ है। वे इसे समाज को बांटने की साजिश बता रहे हैं।

3. कांग्रेस का इस फैसले पर क्या कहना है?

कांग्रेस का कहना है कि राज्य सरकारें अपनी सामाजिक परिस्थितियों के अनुसार आरक्षण दे सकती हैं। उन्होंने यह भी कहा कि आंध्र प्रदेश में सबसे पहले चंद्रबाबू नायडू की सरकार ने मुस्लिम आरक्षण लागू किया था।

4. क्या धर्म के आधार पर आरक्षण संविधान सम्मत है?

भारतीय संविधान में धर्म के आधार पर आरक्षण का स्पष्ट प्रावधान नहीं है। कई बार न्यायालय ने इसे असंवैधानिक ठहराया है, लेकिन सामाजिक और आर्थिक आधार पर कुछ राज्यों ने इसे लागू किया है।

5. छत्तीसगढ़ में इस पर विवाद क्यों हो रहा है?

छत्तीसगढ़ में सत्ताधारी बीजेपी और विपक्षी कांग्रेस के बीच जुबानी जंग तेज हो गई है। बीजेपी का आरोप है कि कांग्रेस मुस्लिमों के तुष्टीकरण के लिए यह कर रही है, जबकि कांग्रेस का कहना है कि यह सामाजिक न्याय की प्रक्रिया का हिस्सा है।