MP Politics: कौन भड़का रहा है ग्वालियर को? दलित आंदोलन ने पकड़ा सियासी तूल, कांग्रेस-भाजपा के बीच जुबानी जंग तेज
MP Politics: कौन भड़का रहा है ग्वालियर को? दलित आंदोलन ने पकड़ा सियासी तूल, कांग्रेस-भाजपा के बीच जुबानी जंग तेज
MP Politics/Image Source: IBC24
- ग्वालियर में दलित आंदोलन पर गरमाई सियासत,
- कांग्रेस-भाजपा में तीखी बहस
- आरएसएस-विश्व हिंदू परिषद पर कांग्रेस का हमला,
ग्वालियर: MP Politics: ग्वालियर में दलितों के आंदोलन को लेकर सियासत तेज हो गई है। कांग्रेस नेता और पूर्व मंत्री डॉ. गोविंद सिंह ने राज्य सरकार पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि यह पूरा षड्यंत्र शासन की ओर से किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार जानबूझकर ऐसी स्थिति पैदा कर वर्ग संघर्ष कराना चाहती है।
डॉ. गोविंद सिंह ने कहा कि बिना जनता की समस्याएं हल किए और बिना काम किए भाजपा देश पर कब्जा करना चाहती है। राम मंदिर के नाम पर सफलता मिलने के बाद अब जगह-जगह इस तरह की घटनाएं कराई जा रही हैं। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ और विश्व हिंदू परिषद जैसे संगठन इन घटनाओं को हवा दे रहे हैं। ये लोग संविधान की बातें करते हैं लेकिन संविधान विरोधी काम करते हैं। उन्होंने कहा कि ग्वालियर में कोई संघर्ष नहीं है। जनता शांति और भाईचारे से रहना चाहती है। लेकिन आरएसएस, विश्व हिंदू परिषद और भाजपा से जुड़े लोग इसे उछालकर पीठ पीछे से शह दे रहे हैं। कांग्रेस पार्टी, अन्य सभी राजनीतिक दल और सामान्य वर्ग के लोग भी चाहते हैं कि संविधान निर्माता की प्रतिमा लगे, लेकिन कुछ हठधर्मी लोग इसका विरोध कर रहे हैं।
MP Politics: इस पर पलटवार करते हुए भाजपा के प्रदेश महामंत्री और विधायक भगवान दास सबनानी ने कांग्रेस पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि कांग्रेस एक ऐसा संगठन है जिसके पास अब कुछ करने को नहीं बचा है। समाज में वैमनस्यता फैलाने का काम कांग्रेस कर रही है। कांग्रेस ने हमेशा बाबा साहब अंबेडकर की प्रतिभा को नकारा और उन्हें वह सम्मान कभी नहीं दिया जिसके वे हकदार थे। आज वही कांग्रेस घड़ियाली आंसू बहाकर वोट बैंक की राजनीति कर रही है। उन्होंने आगे कहा कि बाबा साहब के जन्मस्थान से लेकर महापरिनिर्वाण स्थल तक को तीर्थस्थल बनाने का काम भाजपा सरकारों ने किया है। कांग्रेस यह बताए कि उसने कभी भी बाबा साहब को भारत रत्न क्यों नहीं दिया। क्यों उनका सम्मान सिर्फ नेहरू परिवार तक सीमित रहा। सबनानी ने स्पष्ट किया कि यह मामला न्यायालय परिसर से जुड़ा है और वहां प्रतिमा लगेगी या नहीं, यह निर्णय न्यायाधीशों द्वारा किया जाएगा। किसी बाहरी व्यक्ति का इसमें हस्तक्षेप नहीं होना चाहिए। मुख्यमंत्री ने भी पहले ही स्पष्ट कर दिया था कि सरकार न्यायालय के निर्णय का सम्मान करेगी।
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