केवल सामाजिक, शैक्षणिक और आर्थिक रूप से पिछड़े मराठों को ही आरक्षण मिलना चाहिए: राणे

केवल सामाजिक, शैक्षणिक और आर्थिक रूप से पिछड़े मराठों को ही आरक्षण मिलना चाहिए: राणे

  •  
  • Publish Date - September 14, 2023 / 06:27 PM IST,
    Updated On - September 14, 2023 / 06:27 PM IST

मुंबई, 14 सितंबर (भाषा) केंद्रीय मंत्री नारायण राणे ने बृहस्पतिवार को कहा कि मराठा समुदाय के केवल उन्हीं लोगों को नौकरियों और शिक्षा में आरक्षण मिलना चाहिए जो शैक्षणिक, सामाजिक और आर्थिक रूप से पिछड़े हैं।

राणे ने कहा कि आरक्षण का लाभ देने के लिए सभी मराठों को कुनबी प्रमाणपत्र देने की कोई आवश्यकता नहीं है। उन्होंने कहा कि कुनबी अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) श्रेणी में आते हैं और इसलिए, उन्हें आरक्षण मिलता है।

पूर्व मुख्यमंत्री राणे ने कहा, ‘‘राज्य के सभी मराठों को कुनबी जाति प्रमाण पत्र देने की कोई आवश्यकता नहीं है। जो लोग (समुदाय में) सामाजिक, आर्थिक और शैक्षणिक रूप से पिछड़े हैं, उन्हें आरक्षण का लाभ मिलना चाहिए। ’96 कुली’ (गोत्र व्यवस्था) मराठों ने आरक्षण की मांग नहीं की है।’’

उन्होंने कहा, ‘‘मैं किसी के आरक्षण का लाभ छीनकर दूसरे को देने का समर्थन नहीं करता। राज्य को किसी भी समुदाय को आरक्षण देने का अधिकार है। जो लोग इतिहास, समाज और जातियों को समझते हैं उन्हें ऐसे मुद्दों पर टिप्पणी करनी चाहिए।’’

राणे ने कहा कि एक उचित सर्वेक्षण से यह पता लगाया जाना चाहिए कि सामाजिक, आर्थिक और शैक्षणिक रूप से कौन पिछड़ा है। उन्होंने कहा कि राज्य की आबादी में मराठा 38 प्रतिशत हैं।

उन्होंने कहा कि अतीत में, जब अन्य समुदायों को आरक्षण का लाभ दिया गया, तो मुख्यमंत्री मराठा थे।

उन्होंने कहा कि अगर अब मराठों को भी इसी तरह का लाभ दिया जाता है तो किसी को इससे नाराजगी नहीं होनी चाहिए।

भाषा अमित नरेश

नरेश